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1st Bihar Published by: Updated Thu, 28 May 2020 07:53:25 PM IST
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PATNA : बिहार के नगर निकायों में काम करने वाले सफाई कर्मियों को पटना हाई कोर्ट ने बड़ी राहत दी है. राज्य सरकार की तरफ से सफाई कर्मियों को हटाए जाने के आदेश पर फिलहाल हाईकोर्ट ने रोक लगा दी है. हाईकोर्ट ने कहा है कि राज्य सरकार का फैसला फिलहाल स्थगित रखा जाए और यथा स्थिति बनाए रखी जाये.
सूबे के 142 स्थानीय नगर निकायों में दैनिक मजदूरी पर काम कर रहे ग्रुप- डी ,सफाई कर्मियों को हटा कर उनके स्थान पर आउटसोर्सिंग के माध्यम से कर्मियों को बहाल करने के राज्य सरकार के निर्णय पर रोक लगाते हुए पटना हाई कोर्ट ने यथावत स्थिति बनाये रखने का आदेश दिया है. न्यायमूर्ति राजीव रंजन प्रसाद की एकल पीठ ने बिहार लोकल बॉडीज़ एम्प्लाइज फेडरेशन की रिट याचिका पर गुरुवार को सुनवाई करते हुए राज्य सरकार को जवाबी हलफनामा दाखिल करने का भी निर्देश दिया है. राज्य सरकार के नगर विकास विभाग के उप सचिव ने विगत 30 मार्च, 2020 को उक्त आशय का आदेश लोकायुक्त न्यायमूर्ति मिहिर कुमार झा द्वारा विगत 28 नवंबर, 2019 को दिए गए आदेश के आलोक में पारित किया गया था. बाद में विभाग ने आदेश को संशोधित कर कर्मचारियों को हटाने की तारीख बढ़ाकर 1 जून कर दिया.
याचिकाकर्ता के वरीय अधिवक्ता योगेश चंद्र वर्मा ने बताया कि दैनिक मजदूरी पर बहाल राज्य भर के तकरीबन 25000 सफाई कर्मी लगभग विगत 20-25 वर्षों से काम करते आ रहे हैं और अपनी - अपनी सेवा को नियमित करने की मांग कर रहे थें. लोकायुक्त ने अपना आदेश पारित करते हुए आदेश की प्रति राज्य सरकार के नगर विकास व आवास विभाग के प्रधान सचिव को भी भेजने को कहा था ताकि आदेश का अनुपालन हो सके. सरकार के आदेश के अनुसार दैनिक मजदूरी पर काम करने वाले ये सफाई कर्मी 1 जून, 2020 से काम नहीं कर सकते और इनके स्थान पर आउटसोर्सिंग पर कर्मियों की बहाली होती. श्री वर्मा ने आगे बताया कि इस प्रकार के नीतिगत मामले में निर्णय देने का अधिकार लोकायुक्त को नहीं है. इस मामले में आगे की सुनवाई आगामी 6 जून को होगी.