PATNA : राज्यपाल कोटे से 12 एमएलसी मनोनयन में हिस्सेदारी नहीं मिलने से हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा के अध्यक्ष और पार्टी के सर्वोसर्वा जीतन राम मांझी ने फिर से नाराजगी जताई है. विधानसभा सत्र में भाग लेने आए जीतन राम मांझी ने कहा कि नीतीश कुमार जी से ऐसी आशा नहीं थी.
जीतन राम मांझ ने कहा कि एमएलसी मनोनयन पर फैसला लेने से पहले उनकी राय तक नहीं पूछी गई. उन्होंने कहा कि ये जो मनोनयन किया गया है, उससे पहले चारों दलों को बुला कर उनकी राय जाननी चाहिए थी. नीतीश कुमार जी ऐसा करते भी आए हैं लेकिन किस गफलत में रहकर इस बार उन्होंने ऐसा नहीं किया यह सोचने वाली बात है.
पूर्व सीएम ने विधान परिषद में सदस्यों के मनोनयन पर कहा कि नीतीश कुमार से चूक हुई है. सभी घटक दल के साथ फैसला लेना चाहिए था. हम लोगों से कोई मशवरा नहीं लिया गया. इस बात को लेकर निराशा हुई है.
वहीं बुधवार को पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी ने कहा था कि वह नीतीश कुमार के साथ विधानसभा चुनाव के पहले बिना शर्त आए थे. लेकिन उन्हें उम्मीद थी कि एमएलसी मनोनयन कोटे में कम से कम उन्हें एक सीट मिलेगी. बावजूद इसके एनडीए में उन्हें तरजीह नहीं दी गई. जीतन राम मांझी ने कहा कि उन्हें इस बात की तकलीफ है कि एमएलसी मनोनयन से पहले विचार विमर्श तक नहीं किया गया.