DELHI : मोदी सरकार ने कोरोना संक्रमण के दौर का पहला बजट पेश कर दिया है. केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण आज लोकसभा में वित्त वर्ष 2021-22 का आम बजट पेश किया. इनकम टैक्स भरने वालों को झटका लगा है. जिन लोगों को ये उम्मीद थी कि सरकार इनकम टैक्स में कोई छूट देगी लेकिन ऐसा नहीं हुआ है. इनकम टैक्स भरने वालों को कोई राहत नहीं मिली है.
सोमवार को मोदी सरकार ने वित्त वर्ष 2021-22 का आम बजट पेश कर दिया है. इनकम टैक्स भरने वाले लोगों को झटका लगा है. टैक्स में कोई भी छूट नहीं दी गई है. हालांकि 75 साल से अधिक उम्र के बुजुर्गों के लिए थोड़ी राहत की खबर है. मोदी सरकार ने बजट में यह एलान किया है कि 75 साल से ऊपर से वरिष्ठ नागरिकों को आयकर रिटर्न भरने की जरूरत नहीं होगी. बजट भाषण के दौरान सदन में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि "75 साल और उससे अधिक उम्र के लोगों का टैक्स कम किया गया है। उन्हें आयकर रिटर्न दाखिल करने में छूट दी जाएगी." यह रियायत उन लोगों के लिए है, जिनकी कमाई का स्रोत पेंशन के अलावा कुछ और नहीं है.
वित्त वर्ष 2021-22 का आम बजट में इनकम टैक्स स्लैब में कोई बदलाव नहीं किया गया है. इस बजट में न तो कोई अतिरिक्त टैक्स छूट की घोषणा की गई और न ही टैक्स स्लैब में कोई सुधार किया गया. इस बजट में सिर्फ वैसे वरिष्ठ नागरिकों के लिए एक राहत की घोषणा हुई, जो कि 75 साल से ज्यादा उम्र के होंगे. इनके लिए इनकम टैक्स रिटर्न दाखिल करने से छूट मिली.
पर्सनल इनकम टैक्स का स्लैब और छूट -
2.5 लाख रुपये तक- कोई टैक्स नहीं
2.5-5 लाख रुपये - 5% टैक्स
5-10 लाख रुपये - 20 % टैक्स
10 लाख और उससे अधिक- 30% टैक्स
कॉरपोरेट टैक्स की दरें और सरचार्ज -
सेक्शन115BA (400 करोड़ रुपये तक टर्नओवर) - 25 % सरचार्ज 7 %
सेक्शन 115BAA – 22% सरचार्ज 10 %
सेक्शन 115BAB - 15 % सरचार्ज 10%
अन्य केस में- 30 % सरचार्ज 7 से 12 %
इसके अलावा इन पर हेल्थ और एजुकेशन सेस भी लगता है. सेस और सरचार्ज में राज्यों को हिस्सा नहीं देना होता है.
आपको बजट पेश करने के दौरान किसानों का नाम सुनते ही विपक्षी दलों के सांसदों ने हंगामा शुरू कर दिया. जैसे ही वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट भाषण में कहा कि सरकार की किसानों की आय दोगुना करने की ओर काम कर रही है. इसपर विपक्षी दल शोर मचाने लगे. बजट भाषण के दौरान केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारम ने कहा कि यूपीए सरकार से करीब तीन गुना राशि मोदी सरकार ने किसानों के खातों में पहुंचाई है. वित्त मंत्री ने कहा कि मोदी सरकार की ओर से हर सेक्टर में किसानों को मदद दी गई है, दाल, गेंहू, धान समेत अन्य फसलों की एमएसपी बढ़ाई गई. मोदी सरकार में एमएसपी बढ़ाकर उत्पादन लागत का 1.5 गुना किया गया है। सरकार किसानों की भलाई के लिए प्रतिबद्ध है.
आपको बता दें कि किसानों की आय को दोगुना करने को लेकर वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने एक फिर अपने बजट भाषण में ऐलान किया है. उन्होंने कहा है कि हमारी सरकार 2022 तक किसानों की आय दोगुनी करने पर कायम है. बजट भाषण के दौरान वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि ''पीएम ने 80 मिलियन परिवारों को कई महीनों तक मुफ्त गैस मुहैया कराया, 40 मिलियन से अधिक किसानों, महिलाओं, गरीबों के लिए सीधे नकद राशि मुहैया कराई.''
केंद्र सरकार की ओर से आम जनता को दिए गए मदद को गिनाते हुए वित्त मंत्री ने कहा कि ''प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2.76 लाख करोड़ रूपये की पीएम गरीब कल्याण योजना घोषित की, इसके साथ ही 800 मिलियन लोगों के लिए मुफ्त खाद्यान उपलब्ध कराया.''
आपको बता दें कि वित्त मंत्री ने स्वास्थ्य बजट 94 हजार करोड़ रुपये से बढ़ाकर 2.38 लाख करोड़ रुपये करने का एलान किया है. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने वैक्सीनेशन के लिए 35,000 करोड़ रुपये का एलान किया गया. वित्त मंत्री ने आटो सेक्टर के लिए वॉलेंटरी स्क्रैपिंग पॉलिसी का एलान किया है. 17 नए हेल्थ इमरजेंसी सेंटर खोलने का एलान किया गया है. वित्त मंत्री ने अर्बन जल जीवन के लिए सरकार ने 2.87 लाख करोड़ का एलान किया. वित्त मंत्री ने 64,180 करोड़ रुपये हेल्थ स्कीम का एलान किया. सभी राज्यों का हेल्थ डेटा बेस तैयार करेंगे. आरएंडी और इनोवेशन पर फोकस है. वित्त मंत्री ने कहा कि हमारा ये बजट 6 स्तंभों पर टिका है.
केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण आज लोकसभा में वित्त वर्ष 2021-22 का आम बजट पेश किया. कोरोना संकट की वजह से बजट खास है. देश को आत्मनिर्भर बनाने वाला बजट है. बहुत कठिन परिस्थितियों में ये बजट आ रहा है. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि "महामारी के दौर में प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना पैकेज की घोषणा की गई. कोरोना काल में आरबीआई ने 27 लाख करोड़ के पैकेज का एलान किया. लॉकडाउन न करते तो ज्यादा जानें जाती. सरकार ने किसानों के खाते में पैसा भेजा है. 80 करोड़ लोगों को मुफ्त राशन बांटा गया. कोरोना काल में 5 मिनी बजट पेश किए गए."
उन्होंने कहा कि "कोरोना काल में सरकार ने आत्मनिर्भर पैकेज जीडीपी का 13 फीसदी दिया. अर्थव्यवस्था को सुधारने के लिए हमें आत्मनिर्भर भारत पर फोकस करना होगा. कोरोना की 2 वैक्सीन अीाी देश में मौजूदा है. ये दशक का पहला बजट है. यह डिजिटल बजट है. इसमें आर्थिक स्थिति को सुदृढ़ करने पर जोर दिया जाएगा."