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BEGUSARAI :लापरवाही बरतने वाले शिक्षक और अधिकारियों को लेकर शिक्षा विभाग लगातार एक्शन में हैं. नियोजित शिक्षकों के परीक्षाफल का सत्यापन नहीं कराने के मामले में डीपीओ ने जिले के चार प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी का वेतन बंद कर देने का आदेश दिया है.
बरौनी, भगवानपुर, मंसूरचक और तेघड़ा के बीईओ का बेतन बंद करने का आदेश देते हुए डीपीओ ने स्पष्टीकरण पूछते हुए आठ जनवरी तक प्रतिवेदन सहित जवाब मांगा है.
बता दें कि इसे लेकर डीपीओ स्थापना ने पांच जनवरी को एक पत्र जारी किया है, जिसमें संबंधित बीईओ को कहा है कि बहार प्राथमिक शिक्षक पात्रता परीक्षा और बिहार माध्यमिक/इंटरमीडिएट शिक्षक पात्रता परीक्षा के आधार पर नियोजित शिक्षकों के परीक्षाफल सत्यापन करने और प्रतिवेदन उपलब्ध कराने के लिए निर्देश दिया गया था, लेकिन आदेश के बावजूद वांछित प्रतिवेदन उपलब्ध नहीं कराया गया.
प्रतिवेदन जमा नहीं करने पर डीईओ रजनीकांत प्रवीण के द्वारा 17 सितम्बर 2019 को 10ः30 बजे शिक्षा अभियान के सभागार में उपस्थित होने का आदेश दिया था, जिसमें संबंधित बीईओ को लेखापाल और संबंधित बीआरपी के साथ उपस्थित होकर वांछित प्रतिवेदन तैयार कर कार्यालय को उपलब्ध कराना था, लेकिन ऐसा नहीं किया गया. इसके साथ ही उन्होंने कहा कि बगैर वांछित प्रतिवेदन समर्पित किए जिला कार्यालय छोड़ने वाले पदाधिकारी के विरूद्ध विभागीय कार्रवाई के साथ-साथ कानूनी कार्रवाई की जाएगी.