PATNA : शराबबंदी वाले राज्य बिहार में जहरीली शराब के कारण पिछले 24 घंटों में अबतक 39 लोगों की जान जा चुकी है। जिसके बाद अब इस मसले को लेकर वर्तमान में राज्य के अंदर संचालित शीतकालीन सत्र में काफी हंगामेदार गुजर रहा है। राज्य में पिछले दो दिनों से सदन के अंदर और बाहर भाजपा द्वारा बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से इस्तीफे की मांग की जा रही है। इसी कड़ी में अब बिहार विधान परिषद् के नेता विरोधी दल सम्राट चौधरी और बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री तारकिशोर प्रसाद ने नीतीश कुमार पर जोरदार हमला बोला है।
बिहार विधान परिषद् के नेता विरोधी दल सम्राट चौधरी ने कहा कि, छपरा में पिछले 24 घंटों में जहरीली शराब से इतने लोगों की मौत हो गई है। इससे यह मालूम चलता है कि, आखिरकार में बिहार में किस स्तर का शराबबंदी है। यह बिहार सरकार की नकामी को उजागर करता है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि, छपरा की घटना को लेकर प्रसाशनिक महकमा तो दोषी है ही लेकिन इसमें बिहार के मुख्यमंत्री का भी नाम शामिल करना चाहिए। बिहार के मुख्यमंत्री भी बराबर के दोषी है। इसलिए अब हम और हमारी पार्टी उनसे इस्तीफा मांग रहे हैं।
उन्होंने कहा कि, बिहार में आज गरीब,दलित, शोषित वर्ग के लोग शराब का सेवन कर रहे हैं, इसका सबसे बड़ा दोषी बिहार के सीएम नीतीश कुमार हैं। बिना उनके सहयोग के इन इलाकों में शराब कैसे आ सकता है जब राज्य में शराबबंदी कानून लागु है। इसलिए सबसे पहले इस पुरे मामले की जबाबदेही सीएम पर बनती है, लेकिन उनका बयान उनकी सोच को बयां करता है।
इसके आलावा बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री तारकिशोर प्रसाद ने कहा कि, जिस तरह से जहरीली शराब के सेवन मौत की घटना सामने आ रही है वह राज्य के अंदर कानून वयवस्था पर सवाल है , आखिकार बिहार के इन इलाकों में शराब आ कहां से रहा है। उन्होंने कहा कि, बिहार में सरकार से पास सभी तरह की वयवस्था है, लेकिन इसका उपयोग नहीं हो रहा है। यह साबित करता है कि कहीं न कहीं जहरीली शराब निर्माताओं के साथ बिहार सरकार और नीतीश कुमार का सांठ-गांठ है। इसी कारण वो इतना कुछ होने के बाबजूद कुछ बोल नहीं रहे, इसके विपरीत सवाल करने पर आग - बबूला हो जा रहे हैं।
इसके आलावा तारकिशोर ने कहा कि, यदि उनको लगता है कि, अवैध शराब का कारोबार करने वाले लोग भाजपा के लोग हैं तो इसमें जांच करवाए और दोषी चाहे भाजपा का हो या फिर राजद और जेडीयू का इससे कोई फर्क नहीं पड़ना चाहिए दोषी सिर्फ और सिर्फ दोषी होता है। यह बोलना की भाजपा के लोग है या अन्य पार्टी के लोग है खीज उतारना है। वो लोग अपनी जिम्मेदारी से भागने के लिए इस तरह का बयान दे रहे हैं।
गौरतलब हो कि, बिहार के छपरा में जहरीली शराब के सेवन से कुल 40 लोगों की जान जा चुकी है। इतनी बड़ी संख्या में हुई मौत को लेकर इलाके में दहशत का माहौल कायम है। इसी को लेकर बिहार की राजनीतिक सरगर्मी काफी बढ़ी हुई है विपक्ष को शराबबंदी को अफसल बताने और सरकार पर हमलावर होने का आसान मौका मिल गया है। वहीं , दूसरी तरफ इसके पलटवार को लेकर खुद सीएम और डिप्टी सीएम ने सीधे तौर पर कहा है कि, जो गलत करता है उसे उसकी गलती की सजा मिलती ही हैं।