ARARIYA/ KATIHAR : बिहार में मानसून के आगमन के साथ ही नदियों का जलस्तर बढ़ने लगा है। राज्य में ज्यादातर नदियों में जलस्तर खतरे के निशान के आस - पास पहुंचने वाला है।ऐसे में नदियों में स्नान के दौरान होने वाली खतरों की संख्या में भी बढ़ोतरी देखने को मिल रहा है। इसी कड़ी में अब कोसी-सीमांचल क्षेत्र में डूबने से आधा दर्जन लोगों की मौत हो गयी। जबकि दो बच्चे अभी लापता है जिनकी खोज की जा रही है। अररिया में तीन, पूर्णिया में दो और कटिहार में एक की मौत हो गयी। वहीं सुपौल में एक बच्ची को एनडीआरएफ की टीम ढूंढने में लगी हुई है।
मिली जानकारी के अनुसार, अररिया के महलगांव ओपी में दो अलग-अलग घटनाओं में तीन बच्चों की डूबने से मौत हो गयी। यहां पहली घटना भूना मजगामा पंचायत के भूना गांव वार्ड संख्या 13 की है। जहां डोभिया धार में नहाने गयी दो मासूम बच्चियों की डूबने से मौत हो गयी। इन बच्चियों में 8 साल की साजिया और 6 साल की निशा है। वहीं दूसरी घटना में महलगांव थाना क्षेत्र अंतर्गत चौकता पंचायत के पेचैली गांव की है। यहां डूबने से दो वर्षीय बालक की मौत हो गयी।जबकि, एक अन्य घटना में चीरह पंचायत के धनगामा गांव में डोढ़ी धार में एक बच्चा डूब गया। उसकी खोजबीन जारी है।
वहीं, पूर्णिया जिले के भवानीपुर प्रखंड के सोनमा पंचायत के वार्ड 1 बसमानपुर गांव में पोखर में डूबने से दो बच्चे की मौत हो गयी। मृतकों में सत्यम कुमार (12) और राजा कुमार(8) शामिल है। ये दोनों बच्चे खेत घूमने जा रहे थे इसी दौरान पोखर में दोनों डूब गये। इस बात की जानकारी मिलते ही परिजन समेत गांव के लोग घटनास्थल पर जुट गये। हालांकि जब तक ग्रामीण कुछ कर पाते तबतक दोनों के शव पोखर में उपलाने लगे। इसके बाद घटना की सूचना पुलिस को दी गई।
इसके अलावा कटिहार बारसोई प्रखंड के लगुवा-दासग्राम पंचायत स्थित सतुवा ग्राम निवासी साहबुल की आठ वर्षीय बच्ची साबेरा खातुन की मौत महानंदा नदी में डूब जाने हो गयी। यह लड़की अपने माता-पिता को बिन बताये आसपास के बच्चों के संग सतुवा ग्राम के समीप स्थित महानंदा नदी में स्न्नान को चली गयी थी। जहां स्नान के क्रम में पैर फिसल जाने के कारण गहरे पानी में चली गयी। इसके बाद डूबने से इसकी मौत हो गयी।
इधर, सुपौल के लक्ष्मीनियां पंचायत के बरमोत्रा स्थित मिरचैया नदी में नहाने के दौरान 7 साल की बच्ची सिफा परवीन डूब गयी। इसके साथ स्नान कर रहे बच्चों ने उसकी काफी खोजबीन की लेकिन वो नहीं मिली। जिसके बाद बच्चों ने इसकी सूचना उसके माता पिता को दी। जिसके बाद एनडीआरएफ की टीम इसके खोज में जुटी हुई है।