PATNA: बिहार के दो दुर्दांत अपराधियों को यूपी पुलिस ने सोमवार को मार गिराया। मारे गए दोने बदमाश करीब ढाई महीने पहले बाढ़ कोर्ट से पुलिस को चकमा देकर फरार हो गए थे। दोनों अपराधी भाई बिहार से भागकर यूपी पहुंचे थे वहां अपराध की वारदातों को अंजाम दे रहे थे। यूपी की पुलिस दोनों को लगातार ट्रैक कर रही थी और लोकेशन मिलते ही दोनों का एनकाउंटर कर दिया। यूपी पुलिस की इस कार्रवाई को लेकर बिहार बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष संजय जायसवाल ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर तंज किया है। उन्होंने कहा है कि यूपी की योगी सरकार और बिहार की नीतीश सरकार में बस उपचार का फर्क है।
संजय जायसवाल ने ट्वीट कर लिखा कि ‘बिहार के दो दुर्दांत अपराधी ने उत्तर प्रदेश में अपराध करने की योजना बना ली। फिर क्या हुआ, जो होना चाहिए था। योगी जी की पुलिस ने उन्हें बिहार वाली सरकार की गलतफहमी दूर कर दी और जीरो टॉलरेंस की नीति से सही जगह को पहुंचा दिया। बस सरकार और उपचार का फर्क है!’ संजय जायसवाल ने कहा है कि बिहार की सरकार भले ही अपराधियों को संरक्षण देने का काम करती हो लेकिन यूपी की सरकार उनका सही तरीके से इलाज करती है।
बता दें कि सोमवार की सुबह वाराणसी पुलिस ने बिहार के दो अपराधियों का एनकाउंटर कर दिया। मारे गया रजनीश उर्फ बबुआ सिंह और मनीष दोनों सगे भाई थे। यह अपराधी दारोगा अजय यादव को गोली मारकर पिस्टल लूट की घटना में शामिल थे। पुलिस लगातार इन्हें ट्रैक कर रही थी और सोमवार की सुबह इन दोनों को रिंग रोड पर भेलखा गांव के पास ट्रैक किया गया। जिसके बाद पुलिस ने उनकी घेराबंदी कर रोकने का प्रयास किया तो अपराधियों ने फायरिंग शुरू कर दी, जिसके बाद पुलिस की तरफ से जवाबी कार्रवाई की गई और इसमें अपराधियों को गोली लगी। इलाज के दौरान दोनों की मौत हो गई है हालांकि एनकाउंटर के दौरान ही एक अपराधी मौके से फरार होने में सफल हो गया था।
बीते 8 सितंबर को तीन कैदी बाढ़ कोर्ट की हाजत से फरार हुए थे। उस दिन पेशी के लिए जेल से कुल 39 कैदियों को लाया गया था, जिसे बाढ़ अनुमंडल स्थित कोर्ट हाजत में रखा गया और यहीं पर हाजत की दीवार काटकर कैदी फरार हो गए थे। 7 मार्च 2017 को पीएनबी बैंक के गार्ड की गोली मारकर 70 लाख रुपय की लूट को अंजाम देने वाले अपराधियों को पटना के तत्कालीन एसएसपी मनु महाराज ने गिरफ्तार किया था। गिरफ्तारी के वक्त इन तीनों से 45 लाख रुपए और पिस्टल बरामद किए गए थे। 2017 से यह तीनों जेल में बंद थे लेकिन सितंबर महीने में फरार हो गए। बिहार पुलिस की पकड़ से जो अपराधी निकल भागे उनका एनकाउंटर यूपी पुलिस ने कर दिया है।