DELHI: बिहार के दरभंगा में एक दलित व्यक्ति के शव के अंतिम संस्कार के दौरान दूसरे समुदाय के लोगों द्वारा बवाल मचाने का मामला तुल पकड़ता जा रहा है. केंद्रीय गृह मंत्रालय ने इस मामले में बिहार सरकार से जवाब मांगा है. केंद्रीय गृह सचिव अजय भल्ला ने इस संबंध में बिहार के मुख्य सचिव को पत्र लिखा है. आरोप है कि दरभंगा में एक दलित व्यक्ति श्रीकांत पासवान की मौत के बाद उनके अंतिम संस्कार के दौरान जमकर बवाल किया गया. शव को श्मसान से बाहर फेंक दिया गया और पीटा गया. इसके बाद जमकर उपद्रव भी मचाया गया.
केंद्रीय गृह सचिव ने मांगी रिपोर्ट
केंद्रीय गृह सचिव अजय भल्ला ने इस मामले में बिहार के मुख्य सचिव आमिर सुबहानी को पत्र लिखा है. पत्र में कहा गया है। “केंद्रीय गृह मंत्रालय को दरभंगा जिले (थाना कमतौल) धर्मपुर गांव में अनुसूचित जाति समुदाय के खिलाफ घोर दुर्व्यवहार की जानकारी मिली है. पता चला है कि दो जुलाई 2023 की रात को अनुसूचित जाति के एक व्यक्ति श्रीकांत पासवान, जिनकी कैंसर के कारण मृत्यु हो गई थी, के दाह संस्कार के दौरान अल्पसंख्यक समुदाय के सदस्यों द्वारा उनके शव को श्मशान घाट से बाहर निकाला गया, पीटा गया और बुरी तरह से अपमानित किया गया. आरोप है कि पैतृक श्मशान भूमि पासवान समुदाय की है, जहां वे हिंदू रीति-रिवाज के अनुसार दाह संस्कार करते रहे हैं और उन्हें इससे वंचित कर दिया गया है.”
केंद्रीय गृह सचिव के पत्र में कहा गया है कि “शव के साथ बेअदबी के बाद हुए हंगामे में पासवान (अनुसूचित जाति) समुदाय के कुछ घर भी क्षतिग्रस्त कर दिये गए. उपद्रवियों ने वहां पहुंचे पुलिसकर्मियों पर भी हमला किया, जिससे उन्हें भी चोटें आईं और उनके वाहन भी क्षतिग्रस्त हो गए. यह पता चला है कि क्षेत्र में अनुसूचित जाति समुदाय को अल्पसंख्यक समुदाय द्वारा मजबूर किया जा रहा है और धमकी दी जा रही है, और वे पलायन पर विचार कर रहे हैं.”
बेहद गंभीर है मामला
केंद्रीय गृह सचिव ने कहा है कि यह संभवतः अनुसूचित जाति के खिलाफ अपराध का मामला हो सकता है. ये अंतिम संस्कार करने का संवेदनशील मुद्दा हो सकता है, जिससे क्षेत्र में कानून और व्यवस्था की समस्याएं पैदा हो सकती हैं. ऐसे में मैं आपसे जल्द से जल्द एक विस्तृत जांच करने और एक रिपोर्ट प्रस्तुत करने का अनुरोध करता हूं.”
बता दें कि ये वाकया पिछले महीने का है. बिहार के दरभंगा जिले में शव के अंतिम संस्कार में एक विशेष समुदाय के लोगों ने जमकर बवाल मचाया। उपद्रवियों ने जहां एक ओर शव को पूरी तरह से जलने नहीं दिया. वहीं मौके पर पहुंची पुलिस पर पथराव कर लगभग आधा दर्जन गाड़ियां तोड़ दीं गयीं. ये मामला दरभंगा जिले के कमतौल थाना क्षेत्र के हरिहरपुर पूर्वी पंचायत के धर्मपुर मालपट्टी गांव का है.
पूरे बवाल के पीछे श्मशान घाट की 22 कट्ठा जमीन का मामला सामने आया था. पासवान समुदाय के लोगों का कहना है कि शमशान की यह भूमि उनके पुरखों की है और वहां सालों से हिंदू समाज के लोगों का अंतिम संस्कार होते आया है. लेकिन श्रीकांत पासवान के अंतिम संस्कार के दौरान एक समुदाय के लोग यहां पर आकर अपने समुदाय की जमीन बताकर हंगामा करने लगे. पासवान जाति के लोगों का आरोप है कि उपद्रवियों ने अंतिम संस्कार में रुकावट पैदा करते हुए यहां में आए लोगों के साथ मारपीट की. उपद्रवियों ने श्मशान घाट पर आई गाड़ियों को क्षतिग्रस्त कर दिया और मौके पर पहुंची पुलिस पर भी पथराव किया. इस घटना में लगभग एक दर्जन लोग घायल हुए हैं.
घटना को लेकर मृतक के बेटे फेकू पासवान ने आरोप लगाया था कि वे अपने पिता श्रीकांत पासवान का शव लेकर शमशान आए थे. वहां मौजूद उपद्रवियों ने अंतिम संस्कार करने से रोक दिया. फेकू पासवान ने आरोप लगाया कि उपद्रवियों ने उनके पिता का शव गड्ढे में फेंक दिया. वहीं, अंतिम संस्कार करने आये लोगों के साथ जमकर मारपीट की गयी. इस दौरान स्थानीय मुखिया की गाड़ी में भी आग लगा दी गयी.
हरिहरपुर पूर्वी पंचायत के मुखिया अजय कुमार झा ने कहा था कि श्रीकांत पासवान की मृत्यु हो गई थी. उनका अंतिम संस्कार करने के लिए शव श्मशान लाया गया था, जहां शव के साथ अभद्रता की गई. मुखिया ने कहा था कि कुछ हिंदुओं के घरों को भी फूंक दिया गया. इस घटना में कई पुलिसकर्मी और दूसरे लोगों को चोट लगी. उपद्रवियों ने घरों में लूटपाट करने की भी कोशिश की.