ब्रेकिंग न्यूज़

'कल्याण ज्वेलर्स' के नाम पर फर्जी सोने-चांदी की दुकान चलाने वाले पर चला प्रशासन का डंडा, बांड भरवाकर दुकानदार से बैनर हटवाया Bihar News: अवैध मेडिकल दुकानों और क्लिनिक संचालकों के खिलाफ प्रशासन का बड़ा अभियान, कई लोग हिरासत में बिहार का 'पुष्पा' निकला संजीव मुखिया, पत्नी को MP और MLA बनाने के लिए किया पेपर लीक Bihar Crime News: भीड़ ने पीट-पीटकर ले ली युवक की जान, एक ग़लतफ़हमी और हो गया बड़ा कांड राज्यसभा के उप सभापति से मिले अजय सिंह, महुली खवासपुर-पीपा पुल के पक्कीकरण की मांग मधुबनी में गरजे मुकेश सहनी, कहा..हक मांगने से नहीं मिलता, छीनना पड़ता है Bihar News: टुनटुन यादव के प्रोग्राम में फायरिंग के बाद एक्शन में आई पुलिस, एक को दबोचा अन्य की तलाश जारी PK ने जमुई में भरी हुंकार, बोले..नीतीश चचा को हटाना है इस बार, भूमि सर्वे और दाखिल खारिज में जमकर हो रहा भ्रष्टाचार Caste Census:जातीय जनगणना पर केंद्र के फैसले का JDU महासचिव ने किया स्वागत, नीतीश कुमार के विजन की बताई जीत Bihar Education News: सरकारी स्कूल के प्रिंसिपल-प्रधान शिक्षकों का पावर कट, स्कूल के दूसरे शिक्षक को बड़ा अधिकार, ACS एस सिद्धार्थ ने सभी DEO को भेजा पत्र

अपराध कर पकड़े गए तो DNA के साथ पूरा डाटा अपने पास रख लेगी पुलिस, मोदी सरकार ने आज नए कानून को संसद में रखा

1st Bihar Published by: Updated Mon, 28 Mar 2022 03:36:00 PM IST

अपराध कर पकड़े गए तो DNA के साथ पूरा डाटा अपने पास रख लेगी पुलिस, मोदी सरकार ने आज नए कानून को संसद में रखा

- फ़ोटो

DELHI : अपराधियों पर नकेल कसने के लिए मोदी सरकार ने एक बड़ा फैसला लिया है। केंद्र सरकार अब जो नया कानून ला रही है उसमें अपराध के मामलों में पकड़े गए लोगों का पूरा ब्यौरा पुलिस के पास रखा जाएगा। पकड़े गए अपराधियों का डीएनए समेत सारी कुंडली पुलिस के पास रिकॉर्ड के रुप में रहेगी।


अपराधियों की पहचान को लेकर संसद में एक अहम बिल पेश हुआ है। जिसका उद्धेश्य अपराधियों की पहचान से जुड़े हर रिकॉर्ड को रखना है। केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा ने क्रिमिनल प्रोसीजर बिल 2022 लोकसभा में पेश किया। प्रस्ताव के दौरान निचले सदन में 120 सदस्यों ने विधेयक के पक्ष में मतदान किया जबकि 58 सदस्यों ने इसके विरुद्ध मतदान किया। 


बता दे कि यदि संसद में यह बिल पास हो गया तो अपराधियों की पहचान वाला मौजूदा कानून 1920 को निरस्त कर दिया जाएगा। मौजूदा कानून के बने 102 साल हो गये हैं। पहले के कानून में सिर्फ फुट प्रिंट और फिंगर प्रिंट की इजाजत है। नए क्रिमिनल प्रोसीजर बिल 2020 के पेश होने के बाद मौजूदा कानून प्रिजनर्स एक्ट 1920 को निरस्त किया जाएगा।


नए बिल में हिरासत में लिए गये आरोपियों और दोषियों के सभी तरह के माप लिया जाएगा। कानून बनने के बाद आरोपियों का रेटिना, फोटो, फिंगर प्रिंट, हथेलियों के प्रिंट, फुट प्रिंट और बायोलॉजिकल सैंपल, हैंडराइटिंग और सिग्नेचर का रिकॉर्ड भी रखा जाएगा। नया बिल जांच एजेंसियों के लिए कारगर साबित होगा।