18 महीने बाद खुल गया इंडो-नेपाल बॉर्डर, बैरियर हटते ही खुशी से खिल उठे लोगों के चेहरे

18 महीने बाद खुल गया इंडो-नेपाल बॉर्डर, बैरियर हटते ही खुशी से खिल उठे लोगों के चेहरे

DESK: 18 महीने से बंद भारत-नेपाल बॉर्डर पर्यटक वाहनों के लिए खोल दी गयी है। अब भारतीय नागरिक अपनी कार, बाइक, टूरिस्ट वैन के साथ नेपाल जा सकते हैं। पहले कोरोना संक्रमण के कारण साइकिल और रिक्शा भी ले जाने की अनुमति तक नहीं थी। रविवार को जैसे ही भारतीय कार ने नेपाल में प्रवेश किया। नेपाली नागरिकों ने ताली बजाकर उनका स्वागत किया। 


बिहार से सटे नेपाल बॉर्डर पर भारतीय गाड़ियों की नेपाल में एंट्री की अनुमति मिल गई है। इसे लेकर दोनों देशों के लोगों में खुशी का माहौल है। गौरतलब है कि कोरोना को लेकर 23 मार्च 2020 से इंडो-नेपाल का जोगबनी बॉर्डर बंद था। नेपाल कैबिनेट की बैठक में लिए गए फैसले के बाद सीमा को खोल दिया गया। बिराटनगर के भंसार ऑफिस के अधिकारियों ने बताया कि अब भारतीय नंबर वाले सरकारी और निजी वाहन नेपाल ले जाया जा सकता है। लेकिन इसके लिए लोगों को सुरक्षा के मानकों का ख्याल रखना होगा। 


बिराटनगर के भंसार ऑफिस के अधिकारियों ने बताया कि भारतीय नागरिक यदि नेपाल आते हैं तो उनके पास पहले कोरोना वैक्सीन लेने का सर्टिफिकेट होनी चाहिए। कोरोना वैक्सीनेशन सर्टिफिकेट बॉर्डर पर दिखाने होंगे। वही 72 घंटे पहले की RTPCR और एंटीजन रिपोर्ट भी अपने पास रखने होंगे। भारत-नेपाल सीमा सील होने के 18 महीने बाद जब बैरियर हटाया गया तो दोनों देशों के लोगों के चेहरे पर खुशी से खिल उठे। 


गौरतलब है कि गृह मंत्रालय के निर्देश पर पिछले साल दशहरा के समय भारतीय सीमा के बैरियर को खोला गया था। जबकि कोरोना संक्रमण का हवाला देकर नेपाल ने अपने क्षेत्र के बैरियर को नहीं खोला। जिसके चलते लोगों को भारी परेशानी होने लगी। सिर्फ भारतीय बैरियर खुलने से लोगों को कोई फायदा नहीं मिल सका। लेकिन डेढ़ माह पहले पैदल आने-जाने की इजाजत लोगों को मिली। लेकिन पैदल आवागमन के लिए कोरोना के गाइडलाइन का पालन करने का निर्देश लोगों को दिया गया। वही आज से कार, बाइक, टूरिस्ट वैन और दूसरे वाहनों से आवाजाही की अनुमति मिल गयी है। एसएसबी के सेना नायक मनोज सिंह ने बताया कि भारतीय वाहन नेपाल जाने लगे हैं। ऐसे में कोविड गाइडलाइन को लेकर नेपाल और भारत सरकार के दिशा निर्देशों का पालन लोगों को करना होगा।