Budget 2026: पहली बार देश का आम बजट होगा रविवार को पेश, क्या होगा सस्पेंस? जानें

Budget 2026: संसदीय परंपराओं के अनुसार, केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण अगले वित्त वर्ष 2026-27 का आम बजट रविवार को पेश कर सकती हैं। इसकी मुख्य वजह यह है कि वर्ष 2026 में 1 फरवरी रविवार के दिन पड़ रहा है।

1st Bihar Published by: First Bihar Updated Sat, 20 Dec 2025 12:30:49 PM IST

Budget 2026

बजट 2026 - फ़ोटो GOOGLE

Budget 2026: संसदीय परंपराओं के अनुसार, केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण अगले वित्त वर्ष 2026-27 का आम बजट रविवार को पेश कर सकती हैं। इसकी मुख्य वजह यह है कि वर्ष 2026 में 1 फरवरी रविवार के दिन पड़ रहा है और वर्ष 2017 से लगातार आम बजट 1 फरवरी को ही पेश किया जा रहा है। ऐसे में इस बार बजट प्रस्तुति का दिन ऐतिहासिक हो सकता है।


हालांकि, संसदीय कार्य मंत्री किरेन रीजीजू ने स्पष्ट किया है कि बजट पेश करने की तारीख और समय का फैसला संसदीय मामलों पर मंत्रिमंडल की समिति (Cabinet Committee on Parliamentary Affairs) द्वारा किया जाता है और इस पर अंतिम निर्णय उचित समय पर लिया जाएगा। उन्होंने यह भी कहा कि परंपराओं के साथ-साथ प्रशासनिक और संसदीय सुविधाओं को ध्यान में रखकर ही निर्णय लिया जाता है।


रविवार को बजट पेश होना होगा ऐतिहासिक

यदि 1 फरवरी 2026 को वित्त मंत्री द्वारा बजट पेश किया जाता है, तो यह संभवतः पहली बार होगा जब आम बजट रविवार को संसद में प्रस्तुत किया जाएगा। हाल के दशकों में ऐसा कोई उदाहरण नहीं मिलता, जब रविवार को आम बजट रखा गया हो। इससे पहले केवल शनिवार को बजट पेश किए जाने के उदाहरण मौजूद हैं।


शनिवार को पेश हो चुका है बजट

पिछले वर्षों में दो बार आम बजट शनिवार के दिन पेश किया गया है। वर्ष 2015 में तत्कालीन वित्त मंत्री अरुण जेटली और वर्ष 2020 में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 1 फरवरी (शनिवार) को बजट पेश किया था। इन दोनों मौकों पर बजट के दिन शेयर बाजार को विशेष रूप से खोलने की व्यवस्था की गई थी, ताकि आर्थिक गतिविधियों पर तत्काल प्रभाव पड़ सके।


2017 से बदली बजट पेश करने की परंपरा

वर्ष 2017 से पहले आम बजट फरवरी के अंतिम दिन पेश किया जाता था। उस समय सरकार को नए वित्तीय वर्ष के शुरुआती तीन महीनों के खर्च के लिए अस्थायी अनुमति (वोट ऑन अकाउंट) लेनी पड़ती थी और पूरे साल के बजट को बाद में मंजूरी मिलती थी। इससे योजनाओं के क्रियान्वयन में देरी होती थी।


इस समस्या को दूर करने के लिए केंद्र सरकार ने वर्ष 2017 में बड़ा बदलाव किया। तत्कालीन वित्त मंत्री अरुण जेटली ने 1 फरवरी को बजट पेश करने की परंपरा शुरू की, ताकि मार्च के अंत तक संसद से बजट को मंजूरी मिल सके और 1 अप्रैल से नए वित्तीय वर्ष की योजनाएं बिना किसी रुकावट के लागू हो सकें।


रविवार को संसद की बैठकें पहले भी हुई हैं

हालांकि, रविवार को आम बजट पेश करने का उदाहरण नहीं है, लेकिन संसद की बैठकें विशेष अवसरों पर रविवार को आयोजित होती रही हैं। वर्ष 2012 में संसद की पहली बैठक की 60वीं वर्षगांठ के अवसर पर विशेष सत्र बुलाया गया था। वहीं, वर्ष 2020 में कोरोना महामारी जैसे असाधारण हालात में भी संसद की कार्यवाही रविवार को हुई थी।


अब सबकी नजर इस बात पर टिकी है कि क्या 2026 में सरकार संसदीय परंपरा में एक नया अध्याय जोड़ते हुए रविवार को आम बजट पेश करती है या फिर तारीख में कोई बदलाव किया जाएगा।