1st Bihar Published by: First Bihar Updated Sat, 27 Dec 2025 10:35:47 PM IST
13 लाख रुपये की ठगी - फ़ोटो social media
MUNGER: मुंगेर में लगातार जागरूकता अभियानों के बावजूद लोग अब भी साइबर फ्रॉड के चक्कर में फंसकर अपनी गाढ़ी कमाई गंवा रहे हैं। साइबर अपराधी नए-नए तरीके अपनाकर आम लोगों को झांसे में ले रहे हैं। कोई ज्यादा मुनाफे के लालच में ठगा जा रहा है तो कोई रिटायर्ड कर्मी पेंशन अपडेट के नाम पर जाल में फंस रहा है। ताजा मामलों में साइबर ठगों ने दो लोगों से करीब 13 लाख रुपये की ठगी कर ली है।
साइबर अपराधी तरह-तरह की तरकीबें अपनाकर लोगों के बैंक खातों से पैसे उड़ा रहे हैं। इन मामलों को लेकर साइबर थाना मुंगेर में दो अलग-अलग लिखित शिकायतें दर्ज कराई गई हैं। पहला मामला जमालपुर रेल कारखाना के रिटायर्ड रेलकर्मी से जुड़ा है, जिनसे पेंशन अपडेट कराने के नाम पर एक लाख रुपये की ठगी की गई।
वहीं दूसरा मामला शादीपुर निवासी एक व्यवसायी का है, जिनसे ऑनलाइन ट्रेडिंग के नाम पर 11 लाख 86 हजार रुपये ठग लिए गए। साइबर थानाध्यक्ष सह डीएसपी राकेश रंजन ने बताया कि दोनों पीड़ितों के आवेदन के आधार पर साइबर थाना में प्राथमिकी दर्ज कर अनुसंधान शुरू कर दिया गया है।
उन्होंने विशेष रूप से रिटायर्ड कर्मियों से अपील की है कि पेंशन अपडेट के नाम पर आने वाले किसी भी फोन कॉल के झांसे में न आएं और इसकी जानकारी संबंधित कार्यालय से ही प्राप्त करें। पीड़ित रिटायर्ड रेलकर्मी जवाहर साह, निवासी दशरथपुर पचरूखी, ने बताया कि उनके मोबाइल पर खुद को कारखाना कर्मचारी बताने वाले व्यक्ति का फोन आया। उसने पेंशन मैसेज अपडेट करने की बात कहकर एक एपीके फाइल मोबाइल में डाउनलोड करवाई।
फाइल अपलोड करते ही उनके बैंक खाते से 99 हजार 999 रुपये की निकासी हो गई। वहीं शादीपुर निवासी व्यवसायी मधुरेंद्र कुमार सिंह ने बताया कि टेलीग्राम के माध्यम से उत्तराखंड की एक ट्रेडिंग कंपनी के ड्यूटी मैनेजर के संपर्क में आकर उन्होंने ऑनलाइन ट्रेडिंग में निवेश किया। शुरुआती दिनों में मुनाफा दिखाया गया, लेकिन बाद में गोल्ड ट्रेडिंग के नाम पर बड़ी राशि ट्रांसफर कराई गई।
जब नुकसान दिखाकर और पैसों की मांग होने लगी और मुनाफा आना बंद हुआ, तब उन्हें साइबर ठगी का एहसास हुआ।साइबर थानाध्यक्ष ने आम लोगों से अपील की है कि किसी भी अनजान लिंक या एपीके फाइल को डाउनलोड न करें, अनजान वीडियो कॉल से बचें और साइबर ठगी की स्थिति में तुरंत टोल फ्री नंबर 1930 पर कॉल कर शिकायत दर्ज कराएं।