पुलिस की चौकसी पर उठा सवाल: मुजफ्फरपुर में लग्जरी कार सवार बदमाशों का दुस्साहस देखिये, गैस कटर से SBI ATM काटकर 25 लाख उड़ाए तेजस राजधानी एक्सप्रेस में परोसा गया खराब खाना, यात्रियों का आरोप—शिकायत पर बोला स्टाफ “कंप्लेन कही भी कर लो कुछ नहीं होगा” अच्छी नौकरी करने वाली पत्नी को नहीं मिलेगा गुजारा भत्ता, इलाहाबाद हाईकोर्ट का बड़ा फैसला जानिये कौन है प्रमोद निषाद?..जिसने 19 हजार फर्जी आधार कार्ड का पूरा नेटवर्क खड़ा कर दिया जमुई में महादलित युवक को नंगा करके पीटा, वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर किया वायरल IndiGo Flight News: इंडिगो की उड़ानों का रद्द होने का सिलसिला जारी, पटना से 8 फ्लाइट कल कैंसिल आय से अधिक संपत्ति मामला: AIG प्रशांत कुमार के खिलाफ दर्ज FIR रद्द, हाई कोर्ट के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट जाएगी SVU आय से अधिक संपत्ति मामला: AIG प्रशांत कुमार के खिलाफ दर्ज FIR रद्द, हाई कोर्ट के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट जाएगी SVU अगुवानी–सुल्तानगंज पुल का मुख्य सचिव ने किया निरीक्षण, मई 2027 तक पूरा करने का लक्ष्य Pawan Singh Threat Case: ‘हम जो करते हैं खुलेआम करते हैं, पवन सिंह को धमकी नहीं दी’, लॉरेंस बिश्नोई गैंग का ऑडियो आया सामने
18-Apr-2023 03:46 PM
By MANOJ KUMAR
MUZAFFARPUR: उत्तर बिहार में बच्चों के लिए काल बना चमकी बुखार का आंकड़ा दिन पर दिन बढ़ता जा रहा है। मुजफ्फरपुर के SKMCH में चमकी बुखार से पीड़ित बच्चों की संख्या बढ़ गई गयी। फिलहाल एक दर्जन बच्चों का यहां चल रहा है। बता दें कि इस साल चमकी बुखार का पहला केस मोतिहारी में सामने आया था। मोतिहारी से बच्चे को 16 जनवरी को एसकेएमसीएच लाया गया था। जहां बच्चे का इलाज शुरू किया गया था। जिसके बाद तीन महीने के भीतर चमकी बुखार से पीड़ित बच्चों की संख्या बढ़ती जा रही है।
एसकेएमसीएच के आंकड़ों की माने तो अब तक मोतिहारी से सीतामढ़ी से एक और मुजफ्फरपुर से 10 केस सामने आए हैं लेकिन सबसे अच्छी बात है कि 12 बच्चे ठीक होकर वापस घर जा चुके हैं अब तक इस बीमारी से किसी भी मासूम की जान नहीं गई है लेकिन जिस तरह से प्रचंड धूप और गर्मी पर रही है उससे काफी ज्यादा बच्चों का ख्याल रखना जरूरी है।
पूर्व के वर्षों के बाद करें तो जैसे-जैसे गर्मी अपना रौद्र रूप धारण करती है वैसे वैसे यह बीमारी बच्चों में तेजी से होने लगता है जिले में स्वास्थ्य विभाग द्वारा लगातार तरह-तरह के जागरूकता कार्यक्रम चलाए जा रहे हैं ताकि ग्रामीण क्षेत्रों में लोग अपने बच्चों का अच्छे से देखभाल कर सकें और तेज धूप में बाहर नहीं निकलने दे साथ ही साथ कोई जूठा फल ग्रामीण इलाकों के बगीचे से ना खाएं।
विगत कई वर्षों की बात करें तो यह बीमारी ने मुजफ्फरपुर ही नहीं उत्तर बिहार के कई जिलों के घर के किलकारी को हमेशा हमेशा के लिए बंद कर चुका है सैकड़ों बच्चे इस बीमारी के शिकार हो चुके हैं लेकिन अब तक कोई ठोस इलाज स्वास्थ्य विभाग की टीम नहीं ढूंढ पाई कि आखिर इस बीमारी को जड़ से कैसे खत्म कर दिया जाए लोगों के अंदर जागरूकता पैदा कर थोड़ी राहत इस बीमारी से स्वास्थ्य विभाग और जिला प्रशासन की टीम ने जरूर कर दी है जरूरत है।
इस बीमारी के लक्षणों और समाधान को ध्यान देने की जिससे घर के अंदर मासूम सुरक्षित रहे स्वास्थ्य विभाग और जिला प्रशासन लगातार आम जनों से यह अपील भी करती है कि अगर इस मौसम में आपके मासूम बच्चे को बुखार हो या फिर तबीयत किसी कारण से बिगड़े तो बिना किसी देरी के अपने नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र जाए और समुचित इलाज करें जरूरत है।
सभी लोग अपने अपने घरों के मासूम बच्चे पर विशेष ध्यान दें । आपको बताते चलें कि मौसम विभाग के द्वारा यह अनुमान भी लगाया गया है कि हाल के सप्ताह में इस तपिस भरी धूप और गर्मी से निजात नहीं मिलने जा रही है ऐसे में अपने मासूम का ख्याल रखना बेहद जरूरी है।