Bihar Politics News : अनंत सिंह के बेटे अंकित–अभिषेक की नीतीश कुमार से हुई मुलाकात, क्या जेल से बाहर आएंगे 'छोटे सरकार'; सियासी एंट्री की भी चर्चा तेज Bihar News: बिहार में भीषण ठंड के बीच बड़ा हादसा, रूम हीटर से झुलसकर बुजुर्ग शख्स की मौत Bihar News: पूर्व केंद्रीय मंत्री अरुण जेटली की जयंती पर पटना में राजकीय समारोह, सीएम नीतीश कुमार समेत बीजेपी नेताओं ने किया नमन Bihar News: पूर्व केंद्रीय मंत्री अरुण जेटली की जयंती पर पटना में राजकीय समारोह, सीएम नीतीश कुमार समेत बीजेपी नेताओं ने किया नमन Bihar News: बिहार में एक सप्ताह से लापता लड़के का शव कुएं से बरामद, अपहरण कर हत्या की आशंका Police investigation : खेत में युवक की लोहे की रॉड से पिटाई का वीडियो वायरल, पुलिस जांच में जुटी driving center : बिहार में लेफ्ट हैंड ड्राइविंग प्रशिक्षण केंद्र शुरू, युवाओं और महिलाओं के लिए अंतरराष्ट्रीय रोजगार के नए अवसर Bihar Crime News: बिहार में शेयर बाजार निवेश के नाम पर 8 करोड़ की साइबर ठगी, पटना से यूपी तक फैला गिरोह बेनकाब train accident : जमुई रेल हादसा के बाद यात्रियों की बढ़ी मुश्किलें, 9 ट्रेनों की रद्द और 14 ट्रेनों के रूट में बदलाव Bihar News: बिहार की लापता कृषि अधिकारी यहां से हुई बरामद, शादी के 23 दिन बाद हो गई थी लापता
29-Jun-2023 06:53 PM
By First Bihar
PATNA: भाजपा सांसद और पूर्व उप मुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने बिहार में शिक्षकों की नियुक्ति को लेकर नीतीश कुमार पर तीखा हमला बोला है. सुशील मोदी ने कहा है कि स्कूली शिक्षकों से लेकर कालेज के सहायक प्राध्यापकों तक की नियुक्ति में अराजकता फैलाकर नीतीश कुमार ने बिहार की शिक्षा व्यवस्था का पूरा बंटाधार कर दिया है.
सुशील मोदी ने कहा कि नयी शिक्षक नियुक्ति नियमावली के तहत आवेदन मांगे जा रहे हैं. लेकिन अब तक 4 लाख से ज्यादा नियोजित शिक्षकों में से मात्र 1200 ने आवेदन किया है. ये साबित करता है कि नई शिक्षक भर्ती प्रक्रिया के प्रति लोगों में कितना आक्रोश है. उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार तत्काल सभी नियोजित शिक्षकों को बिना परीक्षा लिए राज्यकर्मी का दर्जा दें.
12 दिन में 9 संशोधन क्यों?
सुशील मोदी ने कहा है कि नीतीश कुमार को बताना चाहिये कि 12 दिन के भीतर 9 बार शिक्षक नियुक्ति नियमावली में संशोधन क्यों करना पड़ा? विज्ञापन प्रकाशित होने के महीने भर बाद सरकार आवासीय (डोमिसाइल) मुद्दे पर सफाई दे रही है. सुशील मोदी ने कहा कि मुख्यमंत्री को बताना चाहिये कि किसके कहने पर बार-बार नियम बदले गए? यदि पहले भी बाहरी अभ्यर्थियों को बिहार की शिक्षक भर्ती प्रक्रिया में शामिल होने की अनुमति दी गई धी, तो यह घोषणा 30 मई के पहले विज्ञापन में ही क्यों नहीं की गई?
सुशील मोदी ने कहा कि आवासीय प्रमाणपत्र बनवाने में हजारों छात्रों के लाखों रुपये बर्बाद हो गए, उसकी जिम्मेदारी कौन लेगा? सरकार शिक्षा की गुणवत्ता मंह सुधार देने के बजाय कभी रामचरित मानस तो कभी ड्रेस कोड का मुद्दा उठाकर ध्यान भटकाना चाहती है. शिक्षक नियुक्ति के लिए अब तक सिर्फ 50 हजार आवेदन आए हैं और अंतिम तारीख 12 जुलाई है. आवासीय नीति में बदलाव कर सरकार ने बाहरी लोगों को मौका देने के लिए अंतिम तिथि आगे बढाने का बहाना खोज लिया है.
उन्होंने कहा है कि सीटीइटी और अन्य शिक्षक पात्रता परीक्षाएं उत्तीर्ण लोगों को भी फिर भर्ती परीक्षा देने के लिए बाध्य करना न्यायोचित नहीं है. नीतीश कुमार की सरकार बिहार के लाखों बेरोजगार युवकों के साथ नियोजित शिक्षकों के साथ अन्याय कर रही है.