Success Story: कभी छक्का कहकर मजाक उड़ाते थे लोग, अब बिहार पुलिस में सेवा देगी ट्रांसजेंडर दिव्या ओझा India-Pakistan Tension: भारत-पाकिस्तान तनाव को लेकर ज्योतिषी ने कर दी बड़ी भयंकर भविष्यवाणी, जानकर आप भी हैरान हो जाएंगे India-Pakistan Tension: भारत-पाकिस्तान तनाव को लेकर ज्योतिषी ने कर दी बड़ी भयंकर भविष्यवाणी, जानकर आप भी हैरान हो जाएंगे India Pakistan War: युद्ध में अब तक नहीं उतरा है भारत, असली खेल शुरू होना अभी है बाकी Devesh Chandra Thakur donates salary:जदयू सांसद ने सेना के सम्मान में एक साल का वेतन पीएम राहत कोष में दिया ‘ऑपरेशन सिंदूर’ फिल्म की घोषणा पर मचा बवाल: युद्धकाल में फिल्म पोस्टर से लोगों में नाराज़गी, निर्माता ने मांगी माफ़ी Bihar Transport News: करप्शन का खुला खेल...1.24 लाख वसूली में DTO-MVI समेत आठ को नोटिस, सिपाही पर दर्ज हो चुका है केस Bihar School News: बिहार के सरकारी स्कूल का हेडमास्टर बना हैवान! 8वीं की दो छात्राओं को बेहोश होने तक पीटता रहा; एक्शन लेंगे ACS सिद्धार्थ? Bihar School News: बिहार के सरकारी स्कूल का हेडमास्टर बना हैवान! 8वीं की दो छात्राओं को बेहोश होने तक पीटता रहा; एक्शन लेंगे ACS सिद्धार्थ? Chanakya Niti: युद्ध के समय अपनाएं साम, दाम, दंड, भेद ,जानिए क्यों आज भी प्रासंगिक हैं चाणक्य रणनीतियां
18-Mar-2021 01:35 PM
By ARYAN
PATNA : राज्यपाल कोटे से 12 एमएलसी मनोनयन में हिस्सेदारी नहीं मिलने से हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा के अध्यक्ष और पार्टी के सर्वोसर्वा जीतन राम मांझी ने फिर से नाराजगी जताई है. विधानसभा सत्र में भाग लेने आए जीतन राम मांझी ने कहा कि नीतीश कुमार जी से ऐसी आशा नहीं थी.
जीतन राम मांझ ने कहा कि एमएलसी मनोनयन पर फैसला लेने से पहले उनकी राय तक नहीं पूछी गई. उन्होंने कहा कि ये जो मनोनयन किया गया है, उससे पहले चारों दलों को बुला कर उनकी राय जाननी चाहिए थी. नीतीश कुमार जी ऐसा करते भी आए हैं लेकिन किस गफलत में रहकर इस बार उन्होंने ऐसा नहीं किया यह सोचने वाली बात है.
पूर्व सीएम ने विधान परिषद में सदस्यों के मनोनयन पर कहा कि नीतीश कुमार से चूक हुई है. सभी घटक दल के साथ फैसला लेना चाहिए था. हम लोगों से कोई मशवरा नहीं लिया गया. इस बात को लेकर निराशा हुई है.
वहीं बुधवार को पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी ने कहा था कि वह नीतीश कुमार के साथ विधानसभा चुनाव के पहले बिना शर्त आए थे. लेकिन उन्हें उम्मीद थी कि एमएलसी मनोनयन कोटे में कम से कम उन्हें एक सीट मिलेगी. बावजूद इसके एनडीए में उन्हें तरजीह नहीं दी गई. जीतन राम मांझी ने कहा कि उन्हें इस बात की तकलीफ है कि एमएलसी मनोनयन से पहले विचार विमर्श तक नहीं किया गया.