Patna Crime News: आखिर कहां लापता हो गए पटना के बड़े दवा कारोबारी? परिजनों ने पुलिस से लगाई गुहार Patna Crime News: आखिर कहां लापता हो गए पटना के बड़े दवा कारोबारी? परिजनों ने पुलिस से लगाई गुहार Bihar politics: प्रशांत किशोर ने दिलीप जायसवाल के खिलाफ खोला मोर्चा, मेडिकल कॉलेज पर गलत तरीके से कब्जा करने का आरोप Bihar politics: प्रशांत किशोर ने दिलीप जायसवाल के खिलाफ खोला मोर्चा, मेडिकल कॉलेज पर गलत तरीके से कब्जा करने का आरोप Patna News: पटना के यातायात को मिलेगी नई दिशा, सड़कों के चौड़ीकरण के लिए 20.11 करोड़ मंजूर Patna News: पटना के यातायात को मिलेगी नई दिशा, सड़कों के चौड़ीकरण के लिए 20.11 करोड़ मंजूर Bihar Politics: लालू प्रसाद के गढ़ में गरजे चिराग पासवान, बिहार विधानसभा चुनाव लड़ने पर कही यह बात Bihar Politics: लालू प्रसाद के गढ़ में गरजे चिराग पासवान, बिहार विधानसभा चुनाव लड़ने पर कही यह बात दरभंगा को मिली बड़ी सौगात: ननौरा-मोहम्मदपुर सड़क का होगा चौड़ीकरण, 25.55 करोड़ की स्वीकृति एक सिपाही ऐसा भी: 12 साल ड्यूटी पर नहीं गया, फिर भी घर बैठे लेता रहा 28 लाख सैलरी!
16-Apr-2023 09:25 AM
By First Bihar
PATNA : पूर्व सांसद और बाहुबली आनंद मोहन अब जेल से बाहर आ सकते हैं। बिहार कारा हस्तक, 2012 के नियम-481(i) (क) में संशोधन किया गया। इसके बाद अब सोमवार को आनंद मोहन के लिए एक अहम बैठक हो सकती है। जिसके बाद पूर्व सांसद की रिहाई की प्रक्रिया शुरू हो सकती है।
दरअसल, बिहार सरकार द्वारा कानून में किए गए संशोधन के बाद सोमवार को स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक बुलायी गयी है। इस बैठक में ये आनंद मोहन के सजा की समीक्षा की जाएगी। इसके साथ ही यह तय किया जाएगा कि, आनंद मोहन बाकी सजा को लेकर समीक्षा की जानी है। इस बैठक में जो भी फैसला आएगा उसे हाइयर समिति को भेजा जाएगा। इन प्रक्रिया के बाद ही आनंद मोहन की रिहाई पर फैसला होगा।
मालूम हो कि, पूर्व सांसद आनंद मोहन गोपालगंज के जिलाधिकारी जी कृष्णैया हत्याकांड में दोषी करार दिए जाने के बाद जेल में हैं। 5 दिसंबर 1994 में गोपालगंज के तत्कालीन डीएम को भीड़ ने पीटा था और फिर गोली मारकर उनकी हत्या कर दी थी। आनंद मोहन पर भीड़ को उकसाने का आरोप लगा था। जिसके बाद पटना हाइकोर्ट ने फांसी की सजा सुना दी थी। हालांकि, बाद में इसे उम्रकैद में बदला गया था। जबकि, इस मामले में सुप्रीम कोर्ट ने सजा कम करने की अपील खारिज कर दी थी।
आपको बताते चलें कि, काम पर तैनात सरकारी सेवक की हत्या के लिए कठोर सजा का प्रावधान है। आनंद मोहन हत्या मामले में 14 साल की कारावास पूरी कर चुके हैं। वहीं हाल में ही जब पारिवारिक समारोह में शामिल होने के लिए आनंद मोहन को बेल दिया गया तो प्रदेश में एक बड़े खेमे के अंदर से आनंद मोहन को रिहा करने की मांग उठने लगी थी। इसे लेकर सियासी माहौल भी गरमाया रहा था। अब आनंद मोहन के समर्थक व उनके परिवारजन रिहाई की उम्मीद लगाए हुए हैं।