BIHAR: बड़हरा के तुर्की गांव में महिला चौपाल का आयोजन, सोनाली सिंह ने कहा..'अब बदलाव महिलाओं की ताकत से होगा' Bihar Election 2025: बिहार विधानसभा चुनाव को लेकर एक्टिव हुआ पटना जिला प्रशासन, इस दिन से शुरू होगा हथियारों का वेरिफिकेशन Bihar Election 2025: बिहार विधानसभा चुनाव को लेकर एक्टिव हुआ पटना जिला प्रशासन, इस दिन से शुरू होगा हथियारों का वेरिफिकेशन Viral Video: वायरल वीडियो कांड में BJP बड़ा एक्शन, पार्टी से निकाले गए बब्बन सिंह रघुवंशी; डांसर के साथ पार कर गए थे सारी हदें Viral Video: वायरल वीडियो कांड में BJP बड़ा एक्शन, पार्टी से निकाले गए बब्बन सिंह रघुवंशी; डांसर के साथ पार कर गए थे सारी हदें Life Style: ये तीन फूड्स खाए तो पड़ सकते हैं लेने के देने, शरीर के लिए हैं काफी खतरनाक; जानिए... DARBHANGA: राहुल गांधी पर 2 केस दर्ज, 20 नामजद कांग्रेस नेता और 100 अज्ञात के खिलाफ भी प्राथमिकी Bihar News: डिप्टी सीएम विजय कुमार सिन्हा ने की हाई लेबल मीटिंग, अधिकारियों को दिए यह निर्देश Bihar News: डिप्टी सीएम विजय कुमार सिन्हा ने की हाई लेबल मीटिंग, अधिकारियों को दिए यह निर्देश Bihar Election 2025: बिहार विधानसभा चुनाव की तैयारियां तेज, BLA प्रशिक्षण का तीसरा चरण सम्पन्न
01-Oct-2023 07:34 AM
By First Bihar
DELHI : आरजेडी सांसद मनोज झा ने राज्यसभा में 'ठाकुर' को लेकर एक कविता सुनाई थी। इसके बाद पूरे देश में बवाल मचा हुआ है। बिहार और यूपी में इस पर जमकर राजनीतिक बयानबाजी हो रही है। वहीं, अब इस घमासान को लेकर मनोज झा ने बयान दिया है। मनोज झा ने कहा कि- उस कविता का संदर्भ महिला आरक्षण बिल में पिछड़ों को शामिल करने को लेकर था। उसके बाद लोग मुझे बेतुकी बातें कहने के लिए फोन कर रहे हैं। इस तरह के कॉल पिछले 72 घंटों से आ रहे हैं।
मनोज झा ने कहा कि- ओमप्रकाश वाल्मीकि द्वारा 1981में वह कविता लिखी गई थी। वह एक दलित बहुजन चिंतक थे। मैंने उसे कविता को पढ़ने से पूर्वी कहा था इसका किसी जाति विशेष से कोई संबंध नहीं निकाले। मैंने कहा वह ठाकुर मेरे अंदर भी हो सकता है। वह प्रभुत्व का प्रतीक है वह किसी भी जाति धर्म में हो सकता है। उसके बाद मैं कविता पढ़ी और संदर्भ था महिला आरक्षण बिल में पिछड़ों को शामिल करने का। उसके बाद कुछ प्रतिक्रियाएं हुई हमने अपनी तरफ से कोई प्रतिक्रिया नहीं दी।
संसद के पटल पर मेरे द्वारा दिए गए भाषण को कोई लोग पूरा सुन लेगा मतलब मैंने पूरा कहा है कोई व्हाट्सएप फॉरवर्ड मैसेज नहीं। क्या बात मानेगा कि इसका किसी जाति विशेष से कोई संबंध नहीं है यह पूरी तरह से प्रभुत्व के व्याकरण के संबंध में था लेकिन मैं देख रहा हूं उसके बाद लोग अंत संत जो मन में आ रहा है वह बोल रहे हैं कुछ लोग हमें कॉल कर रहे हैं और तरह-तरह की धमकियां भी दे रहे हैं। कुछ तो आपसे बात करने से पहले भी आया है। इसलिए 72 घंटे में कई कॉल आ चुके हैं। जबकि मेरे पार्टी ने लिखा भी और में राष्ट्रीय अध्यक्ष ने कहा भी कि मैं कुछ गलत नहीं कहा और खुलकर उन्होंने सारी बातें सामने रख दी।
उसके बावजूद अगर यह विवाद है तो इसके पीछे कुछ ऐसे तत्व हैं जिनको दलित बहुजन समाज की चिंता से कोई फर्क नहीं पड़ता जिनको यह नहीं समझना है कि सही मायने में कविता क्या थी उसके पहले और उसके बाद मैं क्या कहा। अब जाहिर तौर पर समाज की यह स्थिति है तो मैं क्या करूं।
आपको बताते चलें कि, राज्यसभा में महिला आरक्षण बिल के दौरान 'कुंआ ठाकुर का' पढ़ने पर आरजेडी सांसद मनोज झा विवादों में घिर गए हैं। आरजेडी के भीतर ही मनोज झा का विरोध शुरू हो गया है। आरजेडी विधायक चेतन आनंद के पिता आनंद मोहन ने मनोझ झा की जिह्वा खींच लेने की बात कही है। शिवहर से आरजेडी विधायक चेतन आनंद ने भी मनोझ झा पर निशाना साधा है। इसके साथ ही जेडीयू और बीजेपी के नेता भी इस बयान को लेकर मनोज झा के विरोध में उतर गए हैं। बिहार में इस बयान पर घमासान मचा हुआ है।