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19-Sep-2025 11:09 AM
By First Bihar
Patna News: पटना मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल (PMCH) में जूनियर डॉक्टरों की अनिश्चितकालीन हड़ताल, जो कि बीते कई दिनों से जारी थी, अब समाप्त हो गई है। यह निर्णय स्वास्थ्य विभाग, बिहार सरकार के साथ सफल वार्ता और लिखित समझौते के बाद लिया गया। एसोसिएशन ने कहा है कि सरकार द्वारा उनकी मांगों को औपचारिक रूप से लिखित रूप में स्वीकार कर लिया गया है, जिसके चलते सभी चिकित्सीय और आपातकालीन सेवाएं तत्काल प्रभाव से बहाल कर दी गई हैं।
जूनियर डॉक्टर एसोसिएशन (JDA) के अध्यक्ष डॉ. सत्यम कुमार ने बताया कि हड़ताल की शुरुआत बॉन्ड अवधि में कटौती, जुर्माना राशि घटाकर ₹10 लाख करने, और अन्य छह प्रमुख मांगों को लेकर हुई थी। उन्होंने कहा कि डॉक्टरों की ये मांगें लंबे समय से लंबित थीं और कई बार मौखिक आश्वासन दिए जाने के बावजूद उन पर ठोस कार्रवाई नहीं हो रही थी।
हड़ताल के दौरान PMCH की OPD सेवाएं पूरी तरह से ठप रहीं, जिससे दूर-दराज़ से इलाज कराने आए मरीजों को भारी कठिनाइयों का सामना करना पड़ा। मरीज और उनके परिजन अस्पताल परिसर में इलाज के लिए इधर-उधर भटकते नज़र आए। स्थिति इतनी गंभीर हो गई थी कि कई वार्डों में भर्ती प्रक्रिया भी बाधित हो गई थी।
मंगलवार को JDA की पांच सदस्यीय टीम ने स्वास्थ्य सचिव से कई घंटों तक बैठक की, लेकिन शुरुआत में कोई ठोस नतीजा नहीं निकल सका। हालांकि, देर रात सरकार की ओर से लिखित आश्वासन मिलने के बाद एसोसिएशन ने हड़ताल समाप्त करने का निर्णय लिया। एसोसिएशन ने इस आंदोलन के दौरान दरभंगा मेडिकल कॉलेज (DMCH), नालंदा मेडिकल कॉलेज (NMCH), जेएलएनएमसीएच (JLNMCH) सहित अन्य मेडिकल कॉलेजों के जूनियर डॉक्टरों द्वारा दिए गए समर्थन के लिए आभार व्यक्त किया है। इन संस्थानों की एकजुटता ने आंदोलन को मजबूती प्रदान की।
जूनियर डॉक्टरों ने फर्स्ट बिहार झारखंड की संतुलित और रचनात्मक भूमिका की सराहना की और कहा कि फर्स्ट बिहार झारखंड ने उनकी मांगों को सरकार और आम जनता तक प्रभावी ढंग से पहुंचाया। जूनियर डॉक्टर्स एसोसिएशन, पीएमसीएच ने दोहराया है कि वे भविष्य में भी स्वास्थ्य विभाग के साथ समन्वय बनाकर बिहार की स्वास्थ्य व्यवस्था को बेहतर बनाने में पूरी सक्रियता से सहयोग करेंगे। एसोसिएशन ने कहा हम चिकित्सा सेवा को सर्वोपरि मानते हैं और मरीजों की देखभाल में किसी तरह की लापरवाही नहीं चाहते। हड़ताल हमारे लिए अंतिम विकल्प था, लेकिन हम राहत की बात यह है कि सरकार ने अब हमारी बातों को गंभीरता से लिया है।
इसी दौरान, पटना में एक और बड़ा आंदोलन देखने को मिला जहां BPSC TRE 4 (Teacher Recruitment Exam) की सीटें बढ़ाने की मांग को लेकर शिक्षक अभ्यर्थियों ने मुख्यमंत्री आवास की ओर मार्च किया। अभ्यर्थियों की मांग है कि सरकार कम से कम 1.2 लाख सीटों पर बहाली का विज्ञापन जारी करे, जैसा कि पहले वादा किया गया था। TRE 4 वैकेंसी घटाकर सिर्फ 26,000 किए जाने से युवाओं में आक्रोश है। पटना में सुरक्षा व्यवस्था बढ़ा दी गई है और आंदोलन तेज होने की आशंका जताई जा रही है।