पटना में BJP का पोस्टर वॉर: पीएम मोदी की मां को बताया दुर्गा, राहुल-तेजस्वी समेत पूरे विपक्ष को दिखाया महिषासुर पटना में BJP का पोस्टर वॉर: पीएम मोदी की मां को बताया दुर्गा, राहुल-तेजस्वी समेत पूरे विपक्ष को दिखाया महिषासुर PM MODI : 'किसी के परमाणु धमकी से नहीं डरता भारत...', जन्मदिन पर बोले पीएम मोदी... जरूरत पड़ने पर होगी सीधी कार्रवाई Credit Card Fraud: स्कैमर्स का निशाना बन सकता है आपका क्रेडिट कार्ड, भूल कर भी न करें ये गलतियां Bihar Crime News: थाने के लॉकअप से चकमा देकर फरार हो गए तीन अपराधी, मुंह देखती रह गई बिहार पुलिस PMO : प्रधानमंत्री कार्यालय जल्द शिफ्ट होगा: नए एग्जीक्यूटिव एन्क्लेव में PMO, कैबिनेट सचिवालय और NSA सचिवालय भी होगा ट्रांसफ़र Vande Bharat Train: बिहार को वंदे भारत की नई सौगात, इस रूट पर विस्तार की तैयारी Bihar Police News: बिहार के इस जिले में पुलिस महकमे में बड़ा फेरबदल, 21 थानों के थानेदार बदले; SSP ने जारी किया आदेश Bihar Police News: बिहार के इस जिले में पुलिस महकमे में बड़ा फेरबदल, 21 थानों के थानेदार बदले; SSP ने जारी किया आदेश EOU RAID: नगर विकास विभाग के लिए भ्रष्टाचार बना शिष्टाचार ! तभी तो करप्शन केस में रेड के 28 दिनों बाद भी 'अनुभूति श्रीवास्तव' को नहीं किया सस्पेंड, आज भी बरसाई जा रही विशेष कृपा
17-Sep-2025 08:24 AM
By First Bihar
Bihar News: बिहार के सभी मेडिकल कॉलेजों और सरकारी अस्पतालों में जूनियर डॉक्टरों की हड़ताल शुरू हो गई है। यह हड़ताल आज यानी बुधवार से शुरु हुआ है। डॉक्टरों ने आपातकालीन सेवाओं को छोड़कर सभी गैर-आपातकालीन विभागों में कार्य बहिष्कार का ऐलान किया है। जूनियर डॉक्टर एसोसिएशन (JDA) ने स्पष्ट किया है कि उनकी मांगें पूरी नहीं होने तक यह हड़ताल जारी रहेगी। मंगलवार को अस्पतालों में सभी जूनियर डॉक्टरों ने काला पट्टी बांधकर विरोध प्रदर्शन किया, जो इस आंदोलन की गंभीरता को दर्शाता है।
जूनियर डॉक्टर एसोसिएशन का कहना है कि स्वास्थ्य विभाग को बार-बार उनकी समस्याओं के बारे में अवगत कराने के बावजूद कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है। इसलिए अब उनके पास आंदोलन करने के अलावा कोई विकल्प नहीं बचा है। एसोसिएशन ने अपनी मांगों को उचित, न्यायपूर्ण और आवश्यक बताते हुए कहा कि इससे रेजिडेंट डॉक्टर्स की न्यायसंगत स्थिति, कार्यक्षमता और मनोबल को बनाए रखना संभव होगा। JDA ने सरकार से अपील की है कि वे शीघ्र सकारात्मक कार्रवाई करें ताकि स्वास्थ्य सेवाओं में किसी भी प्रकार की बाधा न आए और डॉक्टरों को कड़ी कार्रवाई पर मजबूर न होना पड़े।
बता दें कि डॉक्टरों ने अपनी मांग रखा है कि बॉन्ड पोस्टिंग की अवधि केवल 1 वर्ष की जाए और यदि कोई इसका पालन नहीं करता तो 10 लाख रुपए का मुआवजा दंड लगाया जाए। बॉन्ड सेवा को सीनियर रेजिडेंसी का अनुभव मान्यता दी जाए। साथ ही वर्तमान मानकों और कार्यभार के अनुसार सीनियर रेजिडेंट डॉक्टरों के वेतन में उचित वृद्धि की जाए।
परिणाम घोषित होने और पोस्टिंग शुरू होने के बीच की अवधि को भी बॉन्ड अवधि में शामिल किया जाए, जिससे डॉक्टर्स को अनुचित नुकसान न हो। यदि कोई डॉक्टर बॉन्ड अवधि पूरी होने से पहले इस्तीफा देता है, तो उससे पहले से प्राप्त वेतन वापस न लिया जाए, केवल बॉन्ड दंड लागू किया जाए।
इस हड़ताल के कारण बिहार के मेडिकल कॉलेजों और अस्पतालों में गैर-आपातकालीन सेवाओं में भारी व्यवधान की संभावना है। मरीजों को जांच, OPD, सामान्य इलाज, और अन्य गैर-जरूरी सेवाओं में बाधा का सामना करना पड़ सकता है। हालांकि, आपातकालीन सेवाएं सामान्य रूप से चालू रहेंगी ताकि जीवन-मरण से जुड़े मामलों में कोई समस्या न हो।
इस संबंध में बताया जा रहा है कि अगर सरकार जल्द से जल्द डॉक्टरों की इन मांगों पर सकारात्मक कार्रवाई नहीं करती है, तो यह हड़ताल और लंबी चल सकती है, जिससे राज्य के स्वास्थ्य तंत्र पर व्यापक प्रभाव पड़ेगा।
स्वास्थ्य विभाग ने फिलहाल इस मामले पर कोई आधिकारिक टिप्पणी नहीं की है। हालांकि, पिछले कुछ महीनों से लगातार डॉक्टरों की मांगों और समस्याओं पर चर्चा हो रही है। माना जा रहा है कि सरकार जल्द ही इस पर विचार कर समाधान निकालने का प्रयास करेगी ताकि हड़ताल खत्म हो और स्वास्थ सेवाएं सामान्य रूप से चल सकें। अब लोग का सवाल सिधे स्वास्थ्य मंत्री कर रहे है कि आखिर मंगल पांडे जी कहां है, जो बिहार की स्वास्थ व्यवस्था चरमरा गई है?