ब्रेकिंग न्यूज़

Bihar News: एक दिन में पकड़े गए 8 हजार बेटिकट यात्री, जुर्माने की कुल रकम जान उड़ जाएंगे होश Bihar News: "देश में गृह युद्ध जैसे हालात बनाना चाहते हैं मोदी", AIMIM नेता के विवादित बोल Bihar Crime News: पारिवारिक विवाद में पत्नी को पति ने मारी गोली, खुद को भी उड़ाया Bihar News: बालू माफियाओं के पैसे से ख़रीदे जाने वाले थे विधायक? EOU के खुलासे के बाद बवाल Bihar Crime News: कृषि फार्म से बरामद हुआ नवविवाहिता का शव, 2 गिरफ्तार Patna Traffic Police: 5 महीने में 60 करोड़ का चालान काट चुकी पटना पुलिस, हर दिन 40 लाख की हो रही वसूली Bihar News: बिहार के 85 पुलों का अब बनेगा हेल्थ कार्ड, IIT पटना और दिल्ली के साथ हुआ ऐतिहासिक समझौता Bihar Crime News: मुंगेर में वार्ड सदस्य की हत्या, अपराधियों ने सिर में मारी गोली Bihar News: टर्बुलेंस में फंसी दिल्ली-पटना एयर इंडिया फ्लाइट, यात्रियों के बीच मची अफरा-तफरी Bihar Rain: बिहार के 28 जिलों में बारिश का अलर्ट, पटना को करना होगा अभी और इंतजार

Tejashwi Yadav letter to PM: जाति जनगणना पर तेजस्वी ने पीएम को घेरा, मांगा ठोस एक्शन प्लान...कहा बिहार ने दिखाई राह, अब देश करे बदलाव!

Tejashwi Yadav letter to PM: तेजस्वी यादव ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर जाति जनगणना पर बड़ा बयान दिया है। उन्होंने इसे सिर्फ डेटा नहीं, बल्कि सामाजिक न्याय और सम्मान की उम्मीद बताया।जाति सर्वेक्षण के आधार पर बड़े सुधारों की मांग की है |

1st Bihar Published by: First Bihar Updated Sat, 03 May 2025 09:45:08 AM IST

 तेजस्वी यादव, जाति जनगणना, पीएम मोदी को पत्र, बिहार जाति सर्वेक्षण, सामाजिक न्याय, आरक्षण नीति, caste census India, Tejashwi Yadav letter, OBC EBC Bihar, social justice India, caste-based reservation

नरेन्द्र मोदी और तेजस्वी की तस्वीर - फ़ोटो Google

Tejashwi Yadav letter to PM: बिहार के उपमुख्यमंत्री और राजद नेता तेजस्वी यादव ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर हाल ही में घोषित राष्ट्रीय जाति जनगणना के फैसले का स्वागत किया है, लेकिन साथ ही यह भी कहा कि यह सिर्फ शुरुआत है। उन्होंने चेताया कि यदि इस डेटा का सही उपयोग नहीं हुआ, तो यह अवसर इतिहास के पन्नों में गुम हो जाएगा।


तेजस्वी ने याद दिलाया कि जब बिहार  में महागठबंधन की सरकार ने अपने तरीके से जातिगत गणना की थी, तो केंद्र और सत्ताधारी दल ने इसका विरोध किया था। लेकिन अब केंद्र का इस दिशा में कदम उठाना उन लाखों वंचितों की आवाज़ को मान्यता देने जैसा है। पत्र में उन्होंने यह भी लिखा कि बिहार के जाति सर्वेक्षण में यह सामने आया कि OBC और EBC वर्ग मिलाकर राज्य की 63% जनसंख्या हैं, फिर भी इनका राजनीतिक और प्रशासनिक प्रतिनिधित्व बेहद सीमित है। उन्होंने कहा कि यह आंकड़ा मिथकों को तोड़ता है और बदलाव की मांग करता है।


तेजस्वी यादव ने आग्रह किया कि अब समय है आरक्षण की वर्तमान सीमाओं की समीक्षा करने और सामाजिक सुरक्षा योजनाओं को पुनः संरचित करने का। उन्होंने यह भी सुझाव दिया कि आगामी चुनावी सीमा निर्धारण (Delimitation) में भी इन आंकड़ों का संवेदनशीलता से इस्तेमाल किया जाए। उन्होंने प्राइवेट सेक्टर की जिम्मेदारी की भी बात करते हुए  यह कहते हुए कि जो कंपनियां सरकारी संसाधनों का लाभ उठाती हैं, उन्हें भी देश की सामाजिक विविधता को प्रतिबिंबित करना चाहिए। वंचित लोगों को मौका मिलना चाहिए |


उन्होंने  प्रधानमंत्री से  मांग की है  कि जाति जनगणना के आंकड़ों के आधार पर आरक्षण नीतियों की पूरी तरह से समीक्षा की जाए, और कुछ नई व महत्वपूर्ण मांगें भी जोड़ दीं, जिनमें शामिल हैं:

न्यायपालिका में आरक्षण की व्यवस्था

निजी क्षेत्र (Private Sector) में आरक्षण

सरकारी ठेकों और अनुबंधों में आरक्षण

जातीय आंकड़ों के अनुपात में प्रतिनिधित्व (Proportional Representation)

लंबे समय से लंबित मंडल आयोग की शेष सिफारिशों को पूरी तरह लागू करन


अंत में उन्होंने लिखा, “यह सिर्फ डेटा नहीं, बल्कि सम्मान, प्रतिनिधित्व और न्याय की उम्मीद है। बिहार की ओर से हम आपको इस परिवर्तन में सहयोग देने के लिए तैयार हैं।”तेजस्वी यादव का यह पत्र केवल एक राजनीतिक टिप्पणी नहीं, बल्कि जातिगत न्याय की दिशा में एक सार्थक और ठोस मांग है, जिससे सामाजिक समानता का मार्ग प्रशस्त हो सकता है।