Patna Metro: 15 अगस्त की जगह अब इस दिन से होगी पटना मेट्रो की शरुआत, स्टेशनों की संख्या में भी बदलाव Bihar News: पटना के बिल्डर से मांगी गई डेढ़ करोड़ की रंगदारी, जांच में जुटी पुलिस Biha Land Survey:भूमि सर्वे से पहले सरकार का बड़ा कदम, रैयत की मृत्यु के बाद उत्तराधिकारियों के नाम पर होगी जमाबंदी, मौखिक बंटवारे के बाद की सबसे बड़ी बड़ी समस्या का होगा समाधान, जानें... Bihar News: सड़क हादसे में इंजीनियरिंग कॉलेज के 3 छात्रों की मौत, कई गंभीर रूप से घायल INDvsENG: इंग्लैंड के ओवल में इन भारतीय बल्लेबाजों ने बनाए हैं सबसे ज्यादा रन, यह दिग्गज है सचिन से भी आगे Bihar Weather: बिहार में आज कई जिलों में बारिश का अलर्ट, अगले 4-5 दिन मौसम का रहेगा यही मिजाज राजद नेता रामबाबू सिंह का बड़हरा में जनसंपर्क अभियान, माई-बहिन योजना को घर-घर पहुँचाने का आह्वान बेतिया में दहेज के लिए विवाहिता की गला दबाकर हत्या, ससुरालवालों पर हत्या का आरोप PURNEA: स्वाभिमान सभा में बोलीं नूतन गुप्ता, नीतीश-मोदी की जोड़ी ने बदली बिहार की तस्वीर जहानाबाद में शुरू हुआ 'माई-बहिन मान योजना' का प्रचार, महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने की तैयारी
1st Bihar Published by: FIRST BIHAR Updated Wed, 30 Jul 2025 03:44:36 PM IST
- फ़ोटो google
Land for Job Case: रेलवे में नौकरी के बदले ज़मीन लिखनाने के चर्चित मामले में राष्ट्रीय जनता दल के सुप्रीमो और बिहार देश के पूर्व रेलमंत्री लालू प्रसाद यादव को सुप्रीम कोर्ट से एक और बड़ा झटका लगा है। सुप्रीम कोर्ट ने लालू यादव की उस याचिका को खारिज कर दिया है, जिसमें उन्होंने ट्रायल कोर्ट की कार्यवाही पर रोक लगाने की मांग की थी।
लालू यादव की ओर से अधिवक्ता मुदित गुप्ता के माध्यम से सुप्रीम कोर्ट में अर्जी दाखिल की गई थी। इसमें मांग की गई थी कि ट्रायल कोर्ट की सुनवाई 12 अगस्त तक स्थगित की जाए लेकिन जस्टिस एमएम सुंदरेश और जस्टिस एन कोटिश्वर सिंह की पीठ ने बुधवार को यह याचिका खारिज कर दी।
अदालत ने कहा कि निचली अदालत में आरोप तय करने की प्रक्रिया दिल्ली हाई कोर्ट में लंबित याचिका के फैसले पर निर्भर करेगी। अगर ट्रायल कोर्ट में आरोप तय हो जाते हैं तो हाई कोर्ट में दाखिल याचिका स्वतः ही निष्प्रभावी हो जाएगी। इससे पहले 18 जुलाई को भी सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में ट्रायल पर रोक लगाने से इनकार कर दिया था।
लालू यादव की ओर से दिल्ली हाई कोर्ट के उस फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी गई थी, जिसमें ट्रायल कोर्ट की कार्यवाही पर रोक लगाने की मांग खारिज कर दी गई थी। बता दें कि आरोप है कि लालू प्रसाद ने रेलमंत्री रहते हुए रेलवे में नौकरी देने के बदले अपने और अपने परिवार के लोगों के नाम पर लोगों से उनकी जमीन और फ्लैट की रजिस्ट्री कराई थी। इस मामले की जांच सीबीआई और ईडी दोनों कर रहे हैं।