KANPUR: विकास दुबे को अपराध की दुनिया में विकास कराने वाले कई राजनीतिक दलों के नेता शामिल थे. चुनाव से लेकर कई तरह के कामों में यूपी के कई राजनीति पार्टियों के नेता विकास दुबे का सहयोग लेते थे. विकास का हर पार्टी के नेताओं का संरक्षण प्राप्त था. लेकिन अब सवाल उठ रहा है कि अब कैसे यह खुलासा होगा. क्योंकि बड़ा राज उगलने वाले विकास दुबे को एसटीएफ ने मार गिराया है.
25 साल से राजनीति संरक्षण मिलता रहा विकास को
विकास दुबे को 25 साल से प्रमुख राजनीतिक दलों का समर्थन प्राप्त था. बताया जाता है कि 15 साल बसपा, 5 साल बीजेपी और 5 साल सपा का समर्थन मिलता रहा. हर चुनाव में राजनीतिक दल उसका इस्तेमाल करते रहे थे. विकास की मां सरला देवी ने भी गुरुवार को बताया था कि विकास अब बीजेपी में नहीं है वह सपा में हैं. विकास दुबे पहले भी कह चुका था कि उसका कई राजनीतिक दलों के साथ संबंध रहा है. विकास की पत्नी ऋचा दुबे भी सपा की नेता है.
साजिश के तहत एनकाउंटर
सोशल मीडिया में अब इसको लेकर सवाल उठा रहे है कि अगर विकास जिंदा होता तो राजनीतिक गलियारे में भूचाल ला सकता था. इसके कारण ही उसके एनकाउंटर के साथ सारे राज को दफन कर दिया गया है. यूपी एसटीएफ ने फेक एनकाउंटर किया है. सरकार अपनी साख बचाना चाहती थी.
पुलिस का बयान आया सामने
विकास दुबे के एनकाउंटर के बाद पुलिस का पहली बार बयान सामने आया है. कानपुर पश्चिम एसपी ने कहा कि विकास दुबे को जब लाया जा रहा था तब गाड़ी पलट गई. इसमें जो पुलिसकर्मी घायल हुए उसने उनका पिस्टल छीनने की कोशिश की. पुलिस ने उसे चारों तरफ से घेर कर आत्मसमर्पण कराने की कोशिश की. जिसमें उसने जवाबी फायरिंग की. आत्मरक्षा में पुलिस ने फायरिंग की.जिसमें विकास दुबे मारा गया. विकास के कमर और सिर में गोली लगी.