PATNA : नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी प्रसाद यादव ने आज अपनी पार्टी के नेताओं को बताया कि कोरोन के समय वे जनता के बीच क्यों नहीं निकले. तेजस्वी ने कहा कि उन पर कई केस लदवा चुके नीतीश कुमार मौका तलाश रहे थे कि वे घर से बाहर निकले औऱ फिर से कुछ औऱ केस मुकदमे दर्ज करा दें. तेजस्वी ने विस्तार से बताया कि राज्य सरकार ने कैसे-कैसे उनके खिलाफ मुकदमे दर्ज किये हैं.
सरकार गिरने के डर से विधायकों के निकलने पर लगी रोक
तेजस्वी यादव ने आज अपनी पार्टी के विधायकों और पिछले चुनाव में उम्मीदवार रहे नेताओं की बैठक बुलायी थी. बैठक में उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार ने कोरोना के समय विधायकों के घर से बाहर निकलने पर रोक लगा दिया. पूरे देश में कहीं ऐसा नहीं हुआ लेकिन बिहार में ये फरमान जारी किया गया. दरअसल नीतीश कुमार को डर था कि विधायक घर से बाहर निकले औऱ एक-दो विधायक भी कोरोना का शिकार होकर मर गये तो सरकार ही गिर जायेगी. इसलिए तो विधायकों को सख्ती से कहा गया कि वे घरों में कैद रहें.
मुझे केस में फंसाना चाहते हैं नीतीश
तेजस्वी यादव ने कहा कि वे रोजगार के मुद्दे पर सड़क पर उतरे थे. राज्य सरकार ने उनके खिलाफ धारा 307 यानि हत्या की कोशिश का मुकदमा दर्ज करा दिया. सरकार ने ये नहीं बताया कि वे किसकी हत्या करने गये थे. पिछले दफे जब कोरोना संकट आया तो वे लोगों के बीच निकले थे उस वक्त भी उनके खिलाफ दो दो मुकदमे कर दिये गये. धारा 144 के उल्लंघन से लेकर आपदा कानून को भंग करने तक का.
तेजस्वी ने कहा कि इस दफे भी नीतीश कुमार मौका तलाश रहे थे कि मैं घर से बाहर निकलूं औऱ वे केस दर्ज करा सकें. नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि सत्ता पक्ष के लोग कोरोना में काम नहीं कर रहे थे बल्कि मुझे तलाश रहे थे. यानि सत्ता पक्ष को भी विपक्ष से ही उम्मीद थी. सरकार के लोग इसलिए मुझे तलाश रहे थे कि काम की उम्मीद मुझसे ही थी.