सियासी लड़ाई में NRC पर नप गए BDO साहेब, टाइपिंग मिस्टेक पड़ गया भारी

1st Bihar Published by: Updated Sat, 01 Feb 2020 06:34:22 PM IST

सियासी लड़ाई में NRC पर नप गए BDO साहेब, टाइपिंग मिस्टेक पड़ गया भारी

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PATNA : मोकामा प्रखंड के बीडीओ पर बड़ी कार्रवाई की गयी है। मोकामा बीडीओ को उनके पद से हटा दिया गया है। बीडीओ पर भ्रम की स्थिति पैदा करने का आरोप लगाते हुए उन्हें ग्रामीण विकास विभाग में भेज दिया गया है।

दरअसल 28 जनवरी को पटना के मोकामा प्रखंड के बीडीओ ने अपने प्रखंड के तीन सरकारी स्कूलों के प्राचार्यों को पत्र लिखा।  पत्र में कहा गया था कि NRC के लिए हर स्कूल से दो-दो शिक्षकों की मांग की गयी थी लेकिन तीन स्कूलों ने नाम नहीं भेजे। बीडीओ ने ऐसे प्राचार्यों के खिलाफ कार्रवाई की चेतावनी दी थी।


हालांकि बीडीओ के मूल पत्र को देख कर ही ये लग रहा था कि इसमें NRC का जिक्र भूलवश ही किया गया है।  बीडीओ अपने पत्र में जनगणना के लिए शिक्षकों की तैनाती की बात कर रहे थे।  28 जनवरी को ये पत्र जारी हुआ था. 29 जनवरी को मोकामा के BDO ने दूसरा पत्र भी जारी किया था।  इसमें पहले के पत्र में टाइपिंग में गलती होने की जानकारी दी गयी थी।  दूसरे पत्र में साफ साफ कहा गया था कि NRC का जिक्र भूलवश हुआ है. लिहाजा पहले के पत्र को निरस्त माना जाये।  लेकिन नेताओं को सियासत का मौका मिल गया था. लिहाजा बीडीओ के पहले पत्र को सार्वजनिक कर नीतीश कुमार पर ताबडतोड़ हमला शुरू कर दिया गया।


इसके बाद उपेंद्र कुशवाहा से लेकर तेजस्वी यादव और जीतन राम मांझी ने सियासी तूफान खड़ा कर दिया था।  ट्वीटर पर ट्वीट की बौछार कर दी गयी थी। CAA-NRC  पर सियासत करने को बेचैन तेजस्वी यादव से लेकर उपेंद्र कुशवाहा जैसे सियासी सूरमाओं ने एक बीडीओ के पत्र में टाइपिंग की अशुद्धि को बड़ा सियासी मुद्दा बना दिया था।  हालांकि बीडीओ ने अगले ही दिन अपने पत्र में हुई गलती को सुधार कर दूसरा पत्र भी जारी कर दिया था।  लेकिन विपक्षी नेताओं ने पहले के ही पत्र को सार्वजनिक कर NRC लागू होने की अफवाह जरूर फैला दी।