RANCHI : चारा घोटाले के कई मामलों में सजायाफ्ता होने के बाद रांची के रिम्स में इलाज के लिए भर्ती लालू प्रसाद यादव की खातिरदारी में अस्पताल के 18 कमरों को खाली रखा गया है. रांची के रिम्स को सरकार ने कोरोना के लिए खास अस्पताल बनाया है, जहां हालत ये है कि आम मरीजों को बेड नहीं मिल रहा है. वहीं लालू यादव के लिए डेढ़ दर्जन कमरों को खाली छोड़ दिया गया है. झारखंड बीजेपी के नेता बाबूलाल मरांडी ने सीएम हेमंत सोरेन को पत्र लिखकर पूछा है कि किसके आदेश पर इन कमरों को खाली रखा गया है.
दरअसल झारखंड के सबसे बड़े अस्पताल रिम्स में राज्य सरकार ने कोविड-19 के इलाज की व्यवस्था की है. रिम्स में पहले से 100 बेड का कोविड वार्ड था. मरीजों की संख्या बढ़ी तो मेडिसिन वार्ड के दो और वार्ड को कोविड वार्ड बना दिया गया है. कुल मिलाकर रिम्स में कोरोना के गंभीर मरीजों के लिए 172 बेड रखा गया है. कुछ मरीजों को पेइंग वार्ड में भी रखा गया है. अब स्थिति यह है कि रिम्स में आम कोरोना मरीज के लिए कोई बेड खाली नहीं है. गंभीर रूप ये बीमार लोग भी अस्पताल से वापस लौट जा रहे हैं.
लेकिन बीजेपी विधायक दल के नेता बाबूलाल मरांडी ने आज रिम्स को लेकर अलग ही रहस्योदघाटन किया. मरांडी ने कहा कि लालू प्रसाद जिस वार्ड में भर्ती हैं वहां एक भी मरीज नहीं रखा गया है. लालू प्रसाद यादव रिम्स के जिस पेइंग वार्ड में भर्ती हैं वहां 18 कमरे हैं. आरोप ये लग रहा है कि लालू के वार्ड के सारे कमरों को सिर्फ इसलिए खाली रखा गया है कि कहीं दूसरे मरीजों से लालू यादव को संक्रमण नहीं फैल जाये. दूसरी ओर रिम्स की हालत ये है कि बेड नहीं होने का हवाला देकर कोरोना संक्रमित मरीजों को दूसरे अस्पतालों में भेजा जा रहा है.
बाबूलाल ने सीएम को पत्र लिखकर उठाये सवाल
बीजेपी विधायक दल के नेता बाबूलाल मरांडी ने लालू प्रसाद यादव की सुरक्षा के नाम पर रिम्स में 18 कमरों को बंद रखने पर सवाल उठाया है. बाबूलाल ने सीएम हेमंत सोरेन को पत्र लिखा है. उन्होंने कहा है कि एक ओर जहां मरीज बेड के लिए परेशान हो रहे वहीं रिम्स में 18 कमरों को बेवजह बंद रखा गया है. बाबूलाल मरांडी ने पूछा है कि आखिर किसके निर्देश पर ऐसा किया गया है. मरांडी ने अपने पत्र में कहा है कि सरकार के कोविड सेंटरों में बेड कम पड़ गये हैं. इस पर रांची हाईकोर्ट ने कड़ी टिप्पणी की है. जिन 19 कमरों को खाली रखा गया है वहां कम से कम 40 मरीजों का तो इलाज हो ही सकता है.
बाबूलाल मरांडी ने कहा है कि लालू यादव खुद एक संवेदनशील व्यक्ति हैं. हो सकता है कि यह उनकी जानकारी में नहीं हो कि रिम्स के 18 कमरों को उनके लिए खाली छोड़ा गया है. मरांडी ने कहा कि उन्हें भरोसा है कि जब लालू यादव को ये पता चलेगा कि कुछ लोग उनकी सुरक्षा के नाम पर ऐसी मनमानी कर रहे हैं तो वे इन चीजों को कतई बर्दाश्त नहीं करेंगे. मरांडी ने अपने पत्र में कहा है कि हो सकता है कि मुख्यमंत्री को भी इसकी जानकारी नहीं हो. ऐसे में मुख्यमंत्री कोरोना के इस नाजुक मौके पर इस तरह की मनमानी की अनदेखी नहीं करेंगे और रिम्स के पेइंग वार्ड के बंद कमरों को अविलंब खोल कर वहां मरीजों को रखने का निर्देश देंगे.