राजू दानवीर ने शिक्षा के मुद्दे पर सरकार को घेरा, कहा..बिहार में शिक्षा की बदहाली के लिए सरकार जिम्मेवार

राजू दानवीर ने शिक्षा के मुद्दे पर सरकार को घेरा, कहा..बिहार में शिक्षा की बदहाली के लिए सरकार जिम्मेवार

NALANDA: बिहार में शिक्षा की बदहाली को लेकर जन अधिकार युवा परिषद के प्रदेश अध्यक्ष राजू दानवीर ने नीतीश सरकार पर हमला बोला है। राजू दानवीर ने नालंदा समेत पूरे प्रदेश में शिक्षा व्यवस्था की दुर्दशा पर गहरा रोष व्यक्त किया है। दानवीर ने कहा है कि नालंदा की पहचान विश्व स्तर पर ज्ञान को लेकर रही है। पूरी दुनिया से लोग यहां ज्ञान हासिल करने आते थे, लेकिन आज के हालत बेहद ही चिंताजनक हैं। राजू दानवीर ने कहा कि प्रदेश में शिक्षा और शैक्षणिक व्यवस्था की हालत क्या है, इसकी पोल नालंदा के ही एक मेधावी छात्र सोनू कुमार ने मुख्यमंत्री के सामने खोल कर रख दी। उन्होंने कहा कि नालंदा की गरिमा और शैक्षणिक विरासत को संरक्षित करने के लिए बड़े स्तर पर कदम उठाए जाने की जरूरत है। 


राजू दानवीर ने उक्त बातें आज नालंदा के जोगा बिगहा में सम्पन्न हुए रोहित (सोनल) धनन्जय स्मृति क्रिकेट टूर्नामेंट के फाइनल मुकाबले के विजेताओं को पुरस्कृत करने के बाद पत्रकारों से बातचीत में कही। उन्होंने कहा कि आज बिहार में एक नहीं लाखों सोनू हैं, जो अज्ञानता के अंधेरे में जीवन जीने को विवश हैं। वे पढ़ना चाहते हैं, लेकिन यहां स्कूल पढ़ने लायक नहीं है। कहीं शिक्षकों का अभाव, कहीं स्कूल में भूसा तो कहीं कागजों पर चल रहे स्कूल ने बिहार की शैक्षणिक व्यवस्था को बदहाल कर रखा है। उन्होंने कहा कि 2005 से पहले भी बिहार में शिक्षा का हाल बुरा था, इतने साल के बाद भी बिहार में शिक्षा का वही हाल है। 


दानवीर ने कहा कि सरकार की उदासीनता का ही नतीजा है कि बिहार में स्कूली शिक्षा में ड्रॉपआउट की समस्या खत्म नहीं हो रही है। राज्य के प्राथमिक और उच्च प्राथमिक के साथ माध्यमिक विद्यालयों में भी नामांकित बच्चे अब बीच में पढ़ाई छोड़ दे रहे हैं। सूबे की स्कूली शिक्षा को बेहतर करने के प्रयासों के बीच बड़ी संख्या में यह ड्रॉपआउट चिंताजनक है। उन्होंने कहा कि बिहार की शिक्षा को लेकर नोबेल पुरस्कार प्राप्त अर्थशास्त्री अमर्त्य सेन ने भी इस स्थिति पर चिंता जाहिर करते हुए कहा था कि एक तरफ बिहार का गौरवशाली शैक्षणिक अतीत है और दूसरी तरफ आज इस राज्य का शैक्षणिक पिछड़ापन।  यह सचमुच बहुत कचोटने वाला विरोधाभास है। इसलिए हम सरकार से बिहार में गुणवत्तापूर्ण फ्री और कंपल्सरी एजुकेशन बहाल करने की मांग करते हैं, ताकि फिर कोई सोनू मुख्यमंत्री के सामने पढ़ने की गुहार न लगाए। नालंदा की ज्ञान वाली भूमि एक बार फिर से दुनिया में ज्ञान का केंद्र बने। 


इससे पहले दानवीर ने खिलाड़ियों को सम्मानित करते हुए इस टूर्नामेंट के आयोजक राजू पाठक का आभार जताया। साथ ही उन्होंने इस टूर्नामेंट में शामिल सभी टीमों और उनके खिलाड़ियों के उज्ज्वल भविष्य की कामना की। उन्होंने कहा कि खेल हमारे जीवन का अभिन्न अंग है, जो हमें मानसिक और शारीरिक तंदरुस्ती के साथ सामाजिक सौहार्द भी देता है। इसलिए हम और हमारी पार्टी ऐसे आयोजनों को बढ़ावा देते हैं। वहीं, टूर्नामेंट के फाइनल के दौरान राजू दानवीर के साथ जन अधिकार पार्टी के कई नेता और कार्यकर्ता भी मौजूद रहे।