PATNA : सीबीआई ने ईस्ट सेंट्रल रेलवे पटना के 2 अधिकारी समेत ठेकेदार के खिलाफ केस दर्ज किया है। सीबीआई के तरफ से डिप्टी एफए और सीएओ (निर्माण) अनुराग गौरव, ECR के अधिकारी विकास कुमार और आनंद राज इंफ्राटेक प्राइवेट लिमिटेड के निदेशक अभिषेक कुमार सिंह और ठेकेदार के खिलाफ केस दर्ज किया है।
दरअसल, एफआइआर के अनुसार अधिकारियों ने ठेकेदार को अनुचित लाभ पहुंचाने के इरादे से आपराधिक साजिश रची और मेसर्स आनंद राज इंफ्राटेक प्राइवेट लिमिटेड से रिश्वत लेकर उसके पक्ष में स्वीकृति पत्र (एलओए) जारी करने के साथ-साथ प्रस्तुत निविदा की स्वीकृति की सुविधा प्रदान की है। अनुराग गौरव मूल रूप से टेंगराटोली, ओल्ड सुता फैक्ट्री कैंपस, पिस्का मोड़, हेहल, रांची, झारखंड के निवासी है।
जबकि विकास कुमार इसीआर के अधिकारी हैं और महेंद्रू घाट, पटना में तैनात हैं। वहीं, अभिषेक कुमार सिंह, मेसर्स आनंद राज इंफ्राटेक प्राइवेट लिमिटेड के निदेशक हैं और कंकड़बाग के निवासी हैं। सीबीआइ ने एफआइआर दर्ज करने के बाद डीएसपी अमित कुमार को जांच की जिम्मेदारी दी है। सीबीआइ को जानकारी मिली की इस्ट सेंट्रल रेलवे(इसीआर) हाजीपुर के 15 करोड़ के टेंडर पैसे पर आनंद राज इंफ्राटेक प्राइवेट लिमिटेड को देने के लिए डिप्टी एफए और सीएओ (निर्माण) अनुराग गौरव, इसीआर के अधिकारी विकास कुमार और कंपनी के निदेशक अभिषेक कुमार सिंह के बीच सौदा तय हुआ।
कंपनी को एलओए भी जारी करने की बात भी हो गयी। अनुराग गौरव ने उसके बाद नौ अक्तूबर को अभिषेक सिंह को व्यक्तिगत रूप से तय रिश्वत के साथ मिलने के लिए कहा। सीबीआइ के अनुसार नौ अक्तूबर को अभिषेक कुमार सिंह ने श्री गौरव से पटना स्थित उनके कार्यालय में मुलाकात की। इसके बाद उसी दिन यानी अनुराग गौरव ने इसीआर के एक अधिकारी विकास कुमार से टेंडर बोली की स्वीकृति और पार्टी के पक्ष में एलओए जारी करने के लिए आवश्यक कार्यवाही करने को कहा।
एफआइआर के अनुसार अनुराग गौरव ने विकास कुमार को सूचित किया कि पार्टी द्वारा प्रस्तुत निविदा स्वीकार कर ली गयी है। अभिषेक कुमार सिंह द्वारा प्रतिनिधित्व की गयी कंपनी को एलओए जारी कर दिया गया है।अनुराग गौरव ने अभिषेक कुमार सिंह को उनकी मांगों को पूरा करने के लिए पटना में उनसे मिलने के लिए कहा।