PATNA : कांग्रेस सांसद राहुल गांधी को 'मोदी सरनेम' पर विवादित टिप्पणी करने पर दो साल की सजा सुनाई गई है. मानहानि के मामले में सूरत की अदालत ने उन्हें दोषी करार दिया है। वहीं, उनको सजा सुनाने के बाद कांग्रेस पार्टी के तरफ से विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया गया है। इस बीच बिहार विधानसभा बजट सत्र में सदन के बहार कांग्रेस के तरफ से जोरदार हंगामा किया गया। जिसमें राजद और माले के विधायक ने भी कांग्रेस पार्टी का समर्थन किया। जबकि जेडीयू चुप -चाप मूकदर्शक बनकर पुरे वाकये को देखती रही।
दरअसल, कांग्रेस सांसद को सजा मिलने का विरोध जताते हुए बिहार में महागठबंधन में शामिल सभी दलों के नेता विधानमंडल गेट से लेकर विधानसभा पोर्टिकों तक पैदल मार्च करते हुए सदन पहुंचे। इस दौरान उनके हाथों में पोस्टर बैनर के दिखे गया जिसमें या लिखा हुआ था कि मोदी हटाओ लोकतंत्र बचाओ।इस दौरान बिहार के गठबंधन में शामिल दलों नेताओं का कहना था कि, केंद्र सरकार विपक्ष मुक्त भारत बनाने की साजिश कर रही है। उनकी यह साजिश कभी सफल नहीं होगी। केंद्र सरकार द्वारा विपक्ष के नेताओं पर झूठे मुकदमे लगाए जा रहे हैं।आज राहुल गांधी को भी झूठे मुकदमे में फंसाया गया है।
वहीं, जेडीयू ने इससे दूरी बना रखी थी। इस पर पार्टी का कहना है कि ये न्यायपालिका का मामला है। इसलिए हमलोग न्यायपालिका के ममाले में हस्तक्षेप करना उचित नहीं समझते हैं। इधर प्रदर्शन पर बीजेपी ने कहा कि इन लोगों को जब न्याय मिलता है तो यह लोग कहते हैं कि हमें न्यायालय पर भरोसा है। जब न्यायालय सजा देती है तो खिलाफ में बोलते हैं।
आपको बताते चलें कि, राहुल गांधी को सूरत कोर्ट ने गुरुवार को मानहानि का दोषी करार देते हुए 2 साल की कैद की सजा सुनाई है। उन पर 15 हजार रुपए जुर्माना भी लगाया गया है। हालांकि कोर्ट से उन्हें जमानत भी मिल गई। इनके ऊपर यह आरोप है कि, इन्होंने 2019 लोकसभा चुनाव से पहले कर्नाटक के कोलार में एक रैली के दौरान कहा था कि ‘चोरों का सरनेम मोदी है। सभी चोरों का सरनेम मोदी क्यों होता है, चाहे वह ललित मोदी हो या नीरव मोदी हो चाहे नरेंद्र मोदी।’ जिसके बाद इस ममाले को लेकर याचिका दायर की गई थी और इसी पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने इन्हें यह सजा सुनाई है।