GAYA: कोरोना संक्रमण के कारण इस बार पितृपक्ष मेले का आयोजन नहीं हो रहा है. ऐसे में आने वाले तीर्थयात्रियों को गया जिले के बाहर ही रोक दिया जाएगा. अगर कोई भी तीर्थयात्री आदेश का पालन या जबरन घुसने की कोशिश करेंगे तो उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.
तीर्थयात्रियों को रोकने के लिए पितृपक्ष मेले तक गया की अंतरजिला एवं अंतरराज्यीय सीमा के मुख्य मार्ग के बॉर्डर सील रहेगा. मेला अवधि तक गया में तीर्थयात्रियों की इंट्री नहीं होगी.सीलिंग प्वाइंट निर्धारित कर दंडाधिकारी, पुलिस पदाधिकारी व जवानों की प्रतिनियुक्ति की जाएगी जिससे पितृपक्ष में आने वाले तीर्थयात्रियों को प्रवेश से रोका जा सका.
विभाग ने लिया फैसला
हर साल इस मेले का आयोजन राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग की ओर से कराया जाता है. लेकिन विभाग ने 18 अगस्त को जनहित में पितृपक्ष मेला स्थगित करने का फैसला लिया था. यह मेला 2 सितंबर से शुरू होने वाला था. बिहार सरकार ने कोरोना संकट को देखते हुए पहले से ही बिहार में 6 सितंबर तक लॉकडाउन भी लगा दिया है. ऐसे में इस बार मेला नहीं होगा. आयोजन करने वाले विभाग ने भी अपने आदेश में केंद्रीय गृह मंत्रालय और बिहार सरकार के आदेश का हवाला दिया है.
हर साल करीब 6 लाख आते हैं पिंडदानी
गया में हर साल करीब 6 लाख से अधिक लोग पिंडदान कर अपने पितरों को मोक्ष दिलाने के लिए आते हैं. गया में यह मेला करीब एक माह तक चलता है. इस मेले से हजारों गया के पंडों की कमाई होती है. इसके अलावे छोटे दुकान से लेकर बड़े दुकान और होटलों की कमाई का जरिया होता है. लेकिन इस बार मेला का आयोजन नहीं होने से हजारों लोगों को परेशानी होगी और आर्थिक संकट का सामना करना पड़ेगा.क्योंकि इस मेले का एक साल तक इंतजार होता है.