BUXAR : बिहार के बक्सर में नार्थ ईस्ट एक्सप्रेस के दुर्घटनाग्रस्त होने का असर डीडीयू- पटना के बीच की लगभग चार दर्जन ट्रेनों पर पड़ा। घटना के बाद दो ट्रेनों को रद्द कर दिया गया। जबकि 22 ट्रेनें डाइवर्ट रहीं, वहीं दो दर्जन ट्रेनें पटरियों पर जहां जहां फंसी रहीं। 12 अक्टूबर को पटना से वाराणसी जाने वाली ट्रेन नवंबर 15124 जनशताब्दी को रद्द कर दिया गया है। इसी दिन वाराणसी से पटना जाने वाली 15125 जनशताब्दी को भी रद्द करना पड़ा है। वहीं पटना डीडीयू रेलमार्ग की 19 ट्रेनों को डायवर्ट कर दिया गया है। डायवर्ट ट्रेनों पर 12948 पटना अजीमाबाद स्पेशल को पटना गया डीडीयू के रास्ते चलाई गई जबकि 12487 सीमांचल एक्सप्रेस हाजीपुर, छपरा, वाराणसी प्रयागराज के रास्ते चली।
रेल प्रसाशन के तरफ से जो जानकारी दी गई है उसके मुताबिक 12505 नार्थ ईस्ट एक्सप्रेस को हाजीपुर, छपरा, प्रयागराज के रास्ते चली। वहीं 19 अन्य ट्रेनों में 12149 पुणे दानापुर सुपरफास्ट एक्सप्रेस, 12141 पाटलिपुत्र सुपरफास्ट एक्सप्रेस, 12424 डिब्रूगढ़ राजधानी एक्सप्रेस को पंडित दीनदयाल उपाध्याय से सासाराम होते हुए आरा आएंगी। डायवर्ट किया गया।
जबकि 12368 राजधानी एक्सप्रेस, 12368 आनंद विहार भागलपुर विक्रमशिला एक्सप्रेस, 15623 कामाख्या एक्सप्रेस, 15633 गुवाहाटी एक्सप्रेस, 12310 नई दिल्ली राजधानी तेजस एक्सप्रेस, 22406 आनंद विहार भागलपुर गरीब रथ एक्सप्रेस, 22466 बाबा बैजनाथ धाम देवघर सुपरफास्ट एक्सप्रेस पंडित दीनदयाल उपाध्याय से गया होते हुए पटना आएंगी। 12488 सीमांचल एक्सप्रेस, 15488 महानंदा एक्सप्रेस ढाका से वापस दीनदयाल उपाध्याय जंक्शन लाया। इस ट्रेन को भी दीनदयाल उपाध्याय जंक्शन से गया होते हुए पटना के लिए रवाना किया।
पटना से दिल्ली की ओर जाने वाली ट्रेन 19484 अहमदाबाद एक्सप्रेस, 12423 डिब्रूगढ़ नई दिल्ली राजधानी एक्सप्रेस, 22449 नई दिल्ली पूर्वोत्तर संपर्क क्रांति एक्सप्रेस, 12150 दानापुर पुणे सुपरफास्ट एक्सप्रेस आरा से सासाराम होते हुए पंडित दीनदयाल उपाध्याय जंक्शन तक जाएगी। 13201 मुंबई लोकमान्य तिलक जनता एक्सप्रेस, 15483 महानंदा एक्सप्रेस और 22972 बांद्रा टर्मिनस सुपरफास्ट एक्सप्रेस को पटना से गया होते हुए पंडित दीनदयाल उपाध्याय जाएगी।
उधर, दानापुर रेल मंडल के रघुनाथपुर स्टेशन के समीप डाउन नार्थ ईस्ट एक्सप्रेस के दुर्घटनाग्रस्त होने की जानकारी मिलते ही परिजनों में हड़कंप मच गया। रेल की पटरियों पर जहां तहां फंसे यात्रियों के परिजन परेशान हो गए। भूख प्यास से छोटे बच्चे और महिलाओं का बुरा हाल था। रात दो बजे तक रेल की पटरियों से क्षतिग्रस्त डब्बों को नहीं हटाया जा सका था। रेल अधिकारियों को मानें तो पटरियों पर गिरे डिब्बे को उठाने, रेल की पटरियों को दुरुस्त करने ओवरहेड वायर को ट्रेन चलाने लायक बनाने में गुरुवार को सुबह आठ बजे तक का समय लग सकता है। घटना के बाद पटना से बनारस तक यात्रियों में अफरातफरी मची रही। रेलवे के हेल्पलाइन नंबरों पर जानकारी के लिए फोन की घंटियां घनघनाती रहीं। लोग परिजनों का हाल चाल और ट्रेन परिचालन की स्थिति की जानकारी लेते रहे