1st Bihar Published by: Updated Mon, 25 Jan 2021 07:14:57 AM IST
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DESK : बिहार में शराबबंदी लागू करने के बाद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अपने पड़ोसी राज्यों से अपील की थी कि वह भी शराब पर सख्त कदम उठाए लेकिन नीतीश की पहल का पड़ोसी राज्यों पर कोई ज्यादा असर नहीं हुआ। बिहार में शराबबंदी के बावजूद लगातार शराब की खेप बरामद होती है। शराबबंदी कानून को लेकर विपक्ष सवाल भी खड़े करता है और होम डिलीवरी जैसे आरोप भी आम लोग धड़ल्ले से लगाते हैं लेकिन इस सबके बावजूद योगी सरकार अब नीतीश सरकार के पीछे पीछे चलने की तैयारी में है।
उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने शराब को लेकर अब नए नियम कायदे बनाए हैं। यूपी सरकार ने घर में शराब रखने के लिए नया कानून बनाया है। अब लिमिट से ज्यादा शराब यूपी के अंदर लोग अपने घरों में नहीं रख पाएंगे। लाइसेंस के लिए 12 हजार सालाना फीस भी चुकानी होगी। शुरुआत में 51 हजार की गारंटी भी लोगों को देनी होगी। इस नियम का सीधा मतलब यह है कि अब लोग बिना लाइसेंस के घर में शराब नहीं रख पाएंगे। यानी घर के अंदर अब बार बनाने की इजाजत नहीं होगी। नियम तोड़ने वाले को 3 साल तक की जेल हो सकती है। योगी सरकार ने अपनी आबकारी नीति में बदलाव किया है।
इतना ही नहीं योगी सरकार की नई आबकारी नीति में 21 साल से कम उम्र होने पर शराब रखने की इजाजत नहीं दी जाएगी और ना ही बार में उन्हें एंट्री मिलेगी। लाइसेंस लेने के लिए अप्लाई करते वक्त इनकम टैक्स रिटर्न की रसीद भी देनी होगी पैन कार्ड और आधार कार्ड की कॉपी भी लगाना जरूरी होगा साथ ही यह एफिडेविट भी देना होगा कि 21 साल से कम उम्र के लोगों को शराब रखे जाने वाली जगह पर नहीं जाने दिया जाएगा। नियम तोड़ने वाले को 3 साल की जेल या ₹2000 जुर्माना भी किया जा सकता है। प्रदेश में शराब की खपत पर नजर रखने के लिए बनाए गए आबकारी एक्ट 1910 के मुताबिक 7.84 से ज्यादा अल्कोहल गैरकानूनी है और इसी एक्ट के तहत शराब को ले जाने वाले पर भी जुर्माने का प्रावधान है।