PATNA : 2 दिन पहले बिहार में 80 फ़ीसदी अपराध की घटनाओं के लिए आरजेडी को जिम्मेदार ठहराने वाले पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी ने एक बार फिर आरजेडी के ऊपर हमला बोला है. जीतन राम मांझी ने कहा है कि बिहार में सुशासन की वजह से अब आरजेडी की आमदनी कम हो गई है. कारोबारियों डॉक्टरों से मांगे जाने वाली फिरौती से जनता अब मुक्त है. जंगलराज के खिलाफ़ वोट देकर जनता नहीं खुद को बचा लिया है, लेकिन इसका परिणाम आरजेडी को भुगतना पड़ रहा है.
आरजेडी की आमदनी बंद
मांझी ने कहा है कि आरजेडी की आमदनी जंगल राज के खात्मे के साथ बंद हो गई. लिहाजा अब पार्टी का खजाना भरने के लिए आरजेडी अपने विधायकों से ही पैसे मांग रही है. मांझी ने आरजेडी के विधायकों से पार्टी फंड में ली जाने वाली आर्थिक मदद को लेकर यह निशाना साधा है.
विधायकों से मांगा 10 हजार रुपए
आरजेडी ने अपने सभी विधायकों और विधान परिषद के सदस्यों को लेकर निर्देश जारी किया है. उसमें कहा गया है कि हर माह 10 हजार रुपए पार्टी के फंड में जमा करें. पहले 25 हजार रुपए हर माह जमा करने का प्रस्ताव था, लेकिन इसका विधायकों ने विरोध किया, तब बात 10 हजार रुपए पर बनी. अब 75 विधायक और विधान परिषद के सदस्यों को हर माह पार्टी फंड में 10 हजार रुपए जमा करना होगा. पूर्व विधायक और विधान पार्षदों को भी पैसा जमा करना होगा. इनलोगों को 4 हजार रुपए हर माह देना होगा.
आरजेडी ऑफिस पर होगा खर्च
पार्टी की ओर से बताया गया है कि यह पैसा हर जिलों में पार्टी के ऑफिस के किराया और संगठन के खर्चा का काम आएगा. बीजेपी की तर्ज पर हर जिलों में पार्टी का ऑफिस होगा. आरजेडी के जिला ऑफिस को भी हाईटेक बनाया जाएगा. जिसमें यह पैसा मददगार साबित होगा.