PATNA : बिहार दौरे पर आई केंद्रीय टीम ने कोरोना से मुकाबले के लिए कई दिशा निर्देश दिए है। राज्य के अंदर लोगों को घर में रहकर कोरोना का इलाज कराने की सुविधा दी गई है लेकिन अब तक के बिहार सरकार उन्हें दवा जैसी मूलभूत सुविधा भी उपलब्ध नहीं करा रही थी। केंद्र की गाइडलाइन के बाद अब स्वास्थ्य महकमा हरकत में आया है और उसने घर में रहकर कोरोना का इलाज कर रहे मरीजों को दवा की किट उपलब्ध कराने का फैसला किया है।
रविवार को बिहार दौरे पर पहुंची केंद्रीय टीम ने जिन बिंदुओं पर राज्य के स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों से जानकारी ली थी उसमें होम आइसोलेशन में रहकर इलाज कर रहे लोगों के बारे में जानकारी मांगी गई थी। इस दौरान यह बात निकल कर आई थी कि फिलहाल बिहार में होम आइसोलेशन के अंदर ट्रीटमेंट करा रहे मरीजों को दवा की किट उपलब्ध नहीं कराई जा रही। सेंट्रल टीम ने इसे गंभीर लापरवाही माना था जिसके बाद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने खुद स्वास्थ्य विभाग को यह निर्देश दिया कि होम आइसोलेशन में ट्रीटमेंट करा रहे मरीजों को दवा की किट उपलब्ध कराई जाए।
मुख्यमंत्री के निर्देश के बाद स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव उदय सिंह कुमावत ने सभी जिलों के डीएम और सिविल सर्जन को होम आइसोलेशन में रहकर इलाज करा रहे मरीजों को तत्काल दवा की किट उपलब्ध कराने को कहा है। प्रधान सचिव ने यह भी कहा है कि बिना लक्षण वाले संक्रमित ही होम आइसोलेशन में रहेंगे। जिनके अंदर लक्षण दिखने लगेगा उनको अस्पताल में एडमिट कराया जाएगा। स्वास्थ्य विभाग ने मरीजों को जो किट उपलब्ध कराने का फैसला किया है उसमें एजी थ्रो माइसिन की 10 गोली, परासीटामोल की 10 गोली, विटामिन बी12 की 10 गोली और विटामिन सी की गोली दी जाएगी। साथ ही कपड़े के दो मास्क और उसके उपयोग की जानकारी दवाओं के उपयोग के बारे में पूरी डिटेल एक पर्ची में दी जाएगी।