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29-Dec-2024 11:56 PM
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Paush Month: जनवरी 2025 का महीना धार्मिक और खगोलीय दृष्टि से विशेष रूप से महत्वपूर्ण है। इस महीने में कई शुभ ग्रह राशि परिवर्तन करेंगे, जिससे राशियों पर प्रभाव पड़ेगा। मकर संक्रांति के साथ खरमास समाप्त होगा, और सभी प्रकार के शुभ कार्य पुनः आरंभ किए जाएंगे।
हालांकि, भद्रा विष्टि करण (Bhadra Vishti Karana) के समय कोई भी मांगलिक या शुभ कार्य नहीं करना चाहिए। पंडित हर्षित शर्मा जी के अनुसार, भद्रा काल के दौरान कार्य करने से अशुभ फल प्राप्त हो सकते हैं।
जनवरी 2025 में भद्रा विष्टि करण की तिथियां और समय
03 जनवरी 2025
समय: दोपहर 12:29 बजे से रात 11:40 बजे तक।
06-07 जनवरी 2025
समय: 06 जनवरी को शाम 06:20 बजे से 07 जनवरी को सुबह 05:31 बजे तक।
09-10 जनवरी 2025
समय: 09 जनवरी को रात 11:28 बजे से 10 जनवरी को सुबह 10:25 बजे तक।
13 जनवरी 2025
समय: सुबह 05:01 बजे से शाम 04:32 बजे तक।
16-17 जनवरी 2025
समय: 16 जनवरी को दोपहर 03:46 बजे से 17 जनवरी को सुबह 04:13 बजे तक।
20 जनवरी 2025
समय: सुबह 10:05 बजे से सुबह 11:23 बजे तक।
24 जनवरी 2025
समय: सुबह 06:42 बजे से शाम 07:36 बजे तक।
27-28 जनवरी 2025
समय: 27 जनवरी को रात 08:39 बजे से 28 जनवरी को सुबह 08:15 बजे तक।
भद्रा काल में क्या न करें?
शुभ कार्य:
विवाह, गृह प्रवेश, मुंडन, नामकरण संस्कार जैसे कार्य।
आर्थिक लेन-देन:
नए व्यापार की शुरुआत या बड़े निवेश।
यात्रा:
इस समय यात्रा आरंभ करना भी अशुभ माना जाता है।
विशेष सलाह
भद्रा काल से बचाव के लिए शुभ कार्यों की योजना अन्य समय में बनाएं।
यदि कार्य अत्यंत आवश्यक हो, तो ज्योतिषाचार्य की सलाह लें।
मकर संक्रांति के बाद शुभ कार्यों के लिए सही मुहूर्त का चयन करें।
भद्रा विष्टि करण के दौरान भगवान शिव और हनुमान जी की पूजा करना विशेष फलदायी माना जाता है। इससे जीवन की बाधाएं कम होती हैं।