PATNA : बिहार में विधानसभा चुनाव के ठीक पहले नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने बेरोजगारी कार्ड खेल दिया है. राष्ट्रीय जनता दल बेरोजगारी हटाने के लिए अब चुनाव के दौरान इसे मुद्दा बनाएगी. बिहार ही नहीं देश भर में नौकरियों की कमी के मामले पर तेजस्वी यादव ने चिंता जताई है. तेजस्वी यादव ने आज से एक वेब पोर्टल की शुरूआत की है, जो बेरोजगारी हटाओ अभियान से जुड़ा हुआ है. तेजस्वी यादव की तरफ से www.berojgarihatwao.co.in वेबसाइट लांच की गई है. तेजस्वी यादव ने एक टोल फ्री नंबर भी लॉन्च किया है. इस नंबर पर बेरोजगारी जैसी समस्या से जुड़े युवक संपर्क कर सकते हैं. टोल फ्री नंबर 9334302020 को तेजस्वी यादव ने जारी किया है.
तेजस्वी यादव ने कहा है कि सत्ता में आने के बाद बिहार के अंदर सरकारी रिक्तियों को उनकी सरकार सबसे पहले भरने का काम करेगी. देश में बढ़ती हुई बेरोजगारी पर चिंता जताते हुए नेता प्रतिपक्ष ने कहा है कि राज्य और देश का नौजवान बेरोजगारी को लेकर परेशान है, सरकार रिक्तियों को नहीं भर रही है. नीतीश कुमार ने बिहार के नौजवानों को रिक्तियां होने के बावजूद सरकारी नौकरी में आने का अवसर नहीं दिया है. विधानसभा जैसी इकाई में माली और ड्राइवर की बहाली में ग्रेजुएट और पीएचडी करने वाले अभ्यर्थी शामिल हुए तेजस्वी यादव ने कहा है कि उन्होंने एक्सपर्ट से बेरोजगारी के मुद्दे पर बातचीत की है और सरकार बनते ही बेरोजगारी को लेकर जनता के सामने प्लान रखा जाएगा.
तेजस्वी यादव ने कहा कि बिहार की आर्थिक स्थिति कोरोना काल में काफी ज्यादा चरमरा गई है लेकिन बिहार को इस स्थिति से कैसे उभारना है इसपर नीतीश चर्चा नहीं करना चाहते हैं. उन्होंने कहा कि भारत सरकार के वित्त मंत्रालय की एक चिट्ठी है जिसके मुताबिक अब नए रोजगार के अवसर जनता को नहीं मिल पाएंगे. उन्होंने मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि पीएम ने तो वादा किया था कि प्रवासियों को रोजगार दिया जाएगा लेकिन इस चिट्ठी के मुताबिक उनके वादों का खंडन होता हुआ साफ़ नजर आ रहा है. तेजस्वी ने साफ तौर पर कह दिया कि यदि बिहार से बरोजगारी हटाना है तो नीतीश कुमार को हटाना होगा.
उन्होंने बीजेपी पर तंज कसते हुए कहा कि ऐसे तो बीजेपी विश्व की सबसे बड़ी पार्टी है लेकिन इस पार्टी के पास मुख्यमंत्री पद के लिए कोई चेहरा नहीं है. बीजेपी के नेता दावा तो करते हैं कि वो अकेले सरकार बनाने में सक्षम हैं तो फिर बिहार में सरकार बनाने के लिए जदयू और लोजपा की पिछलग्गू क्यों बनी हुई है.
उन्होंने कहा कि लालू यादव ने बिहार में सामाजिक न्याय की लड़ाई लड़ी थी और यदि बिहार की जनता उन्हें मौका देती है तो वो आर्थिक न्याय को लेकर जल्द ही किसी नयी रणनीति का खुलासा करेंगे.