DESK: सबूतों के अभाव में मणिपुर में एक ड्रग्स माफिया रिहा हो गया. जिसके बाद एएसपी थोउना ओजम बृंदा ने ड्रग केस को लेकर सीएम से मिले वीरता मेडल को वापस कर दिया. जिसके बाद से एक बार फिर से चर्चा में आई है.
आरोपी सबूतों के अभाव में रिहा
ड्रग्स केस में दो माफियाओं को गिरफ्तार किया गया था. यह गिरफ्तारी 2018 में हुई थी, लेकिन सबूतों के अभाव में दोनों आरोपी रिहा हो गए. जिसके बाद मिले अवार्ड को महिला अधिकारी ने लौटा दिया है. गुरुवार को कोर्ट ने ड्रग केस में गिरफ्तार चंदेल ऑटोनोमस डिस्ट्रिक्ट काउंसिल के पूर्व अध्यक्ष और अन्य 6 लोगों को रिहा कर दिया था. इस दौरान कोर्ट का कहना था कि इनपर लगे आरोपों को साबित करने में अभियोजन पक्ष पूरी तरह नाकाम रहा.
कर्तव्य निभाने में हुई चूक
अवार्ड लौटाने के दौरान महिला अधिकारी ने सीएम एन बिरेन सिंह को लेटर लिखा है और कहा कहा ड्रग्स के खिलाफ युद्ध से जुड़े अभियान के तहत इस केस के लिए मुझे 2018 में वीरता मेडल दिया गया था, लेकिन मैं नैतिक रूप से यह मानती हूं कि मैंने न्याय व्यवस्था की इच्छा के हिसाब से अपना कर्तव्य नहीं निभाया. इसलिए मैं खुदको इस सम्मान के लायक नहीं समझती और यह पुरस्कार गृह विभाग को वापस करती हूं ताकि इसे किसी अन्य योग्य और ईमानदार पुलिस ऑफिसर को दिया जा सके. बता दें कि जून 2018 में इम्फाल में एक अभियान के तहत आठ लोगों को गिरफ्तार किया गया था. इनलोगों के पास से 2.80 लाख रुपये की 4.595 किलोग्राम हेरोइन बरामद और 27.79 करोड़ रुपये की वर्ल्ड इज यॉर्स (WY)एम्फैटेमिन टैबलेट भी जब्त किया गया था.