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1st Bihar Published by: First Bihar Updated Wed, 26 Mar 2025 08:56:56 PM IST
प्रतीकात्मक तस्वीर - फ़ोटो Google
Drug price hike : स्वास्थ्य क्षेत्र में महंगाई का असर बढ़ने वाला है, क्योंकि सरकार कैंसर, डायबिटीज, हृदय रोग और एंटीबायोटिक्स जैसी जरूरी दवाओं की कीमतों में वृद्धि करने वाली है। बिजनेस टुडे के अनुसार, सरकारी सूत्रों ने बताया कि दवाओं की कीमत में 1.7 फीसदी का इजाफा होने जा रहा है।
दवाओं की कीमत क्यों बढ़ रही है?
ऑल इंडिया ऑर्गनाइजेशन ऑफ केमिस्ट्स एंड ड्रगिस्ट्स (एआईओसीडी) के महासचिव राजीव सिंघल ने बिजनेस टुडे से बात करते हुए बताया कि दवाओं की कीमत बढ़ाने से फार्मा इंडस्ट्री को राहत मिल सकती है, क्योंकि इस क्षेत्र में कच्चे माल और अन्य खर्चों की लागत में वृद्धि हो रही है।
नए दामों का असर कब होगा?
सरकार द्वारा दवाओं की कीमतों में इजाफा करने के बाद, इसका असर दो से तीन महीनों में दिखाई देगा, क्योंकि पहले से 90 दिनों का स्टॉक मौजूद रहता है।आपको बता दे कि फार्मा कंपनियों पर कई बार नियमों का उल्लंघन करने के आरोप लगाए जाते रहे हैं। एक संसदीय स्थायी समिति की रिपोर्ट के अनुसार, फार्मा कंपनियां बार-बार निर्धारित मूल्य वृद्धि सीमा को पार कर रही हैं। राष्ट्रीय औषधि मूल्य निर्धारण प्राधिकरण (एनपीपीए) ने 307 मामलों में इन कंपनियों को नियमों का उल्लंघन करते पाया है।
सरकार के नियम क्या कहते हैं?
एनपीपीए 2013 के ड्रग प्राइस कंट्रोल ऑर्डर के तहत दवाओं की कीमतों को नियंत्रित करता है और सभी कंपनियों को निर्धारित सीमा के भीतर दाम रखने का आदेश देता है। वहीँ यदि दवाओं की कीमतें कम होती हैं, तो इसका सीधा लाभ मरीजों को मिलता है। राष्ट्रीय आवश्यक औषधि सूची 2022 के तहत कीमतों पर नियंत्रण के कारण मरीजों को हर साल 3788 करोड़ रुपये की बचत होती है।