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1st Bihar Published by: First Bihar Updated Sat, 08 Nov 2025 04:15:50 PM IST
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Bihar Assembly Election : बिहार विधानसभा चुनाव के दूसरे चरण के मतदान के लिए सुरक्षा व्यवस्था पूरी तरह से चाक-चौबंद कर दी गई है। राज्य के 20 जिलों की 122 विधानसभा सीटों पर 11 नवंबर को मतदान होना है। इसके लिए प्रशासन ने व्यापक तैयारियां की हैं ताकि मतदाता बिना किसी भय या बाधा के अपने मताधिकार का प्रयोग कर सकें। चुनाव आयोग और पुलिस प्रशासन ने मिलकर राज्यभर में सुरक्षा का ऐसा तंत्र खड़ा किया है, जिससे किसी भी तरह की अप्रिय घटना को रोका जा सके।
निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार, 9 नवंबर की शाम 6 बजे से चुनाव प्रचार पूरी तरह थम जाएगा। इसके बाद किसी भी उम्मीदवार या दल को सार्वजनिक प्रचार करने की अनुमति नहीं होगी। इस अवधि में सुरक्षा बलों को निर्देश दिया गया है कि वे सभी संवेदनशील और अतिसंवेदनशील इलाकों पर विशेष नजर रखें। मतदान से पहले का 48 घंटे का समय चुनावी दृष्टि से बेहद अहम माना जाता है, इसी कारण प्रशासन ने इसे ‘क्रिटिकल पीरियड’ घोषित कर दिया है।
दूसरे चरण के मतदान के लिए केंद्रीय अर्धसैनिक बलों की 1650 कंपनियां बिहार में तैनात की गई हैं। इनके साथ ही राज्य पुलिस बल के करीब चार लाख जवान चुनावी ड्यूटी में लगाए गए हैं। इन सभी बलों को मतदान केंद्रों, बूथों, बॉर्डर इलाकों और संवेदनशील स्थानों पर रणनीतिक रूप से तैनात किया गया है। पहले चरण की तरह ही इस चरण में भी सुरक्षा व्यवस्था को अभेद्य बनाया गया है ताकि शांतिपूर्ण मतदान संपन्न हो सके।
केंद्रीय बलों और बिहार पुलिस की संयुक्त टीमों ने सघन सर्च ऑपरेशन शुरू कर दिया है। वाहनों की सख्त चेकिंग की जा रही है, साथ ही संदिग्ध व्यक्तियों और फरार अपराधियों पर भी कड़ी नजर रखी जा रही है। पुलिस ने अब तक कई जिलों में अभियान चलाकर असामाजिक तत्वों को गिरफ्तार किया है। चुनावी माहौल को बिगाड़ने की कोशिश करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जा रही है।
पुलिस मुख्यालय ने सभी 20 जिलों के पुलिस अधीक्षकों (एसपी) को स्पष्ट निर्देश दिए हैं कि वे केंद्रीय बलों के साथ तालमेल बनाकर लगातार छापेमारी करें। डीजीपी विनय कुमार ने शुक्रवार को सभी जिलों के एसपी और वरिष्ठ अधिकारियों के साथ एक ऑनलाइन समीक्षा बैठक की, जिसमें सुरक्षा तैयारियों की विस्तार से समीक्षा की गई। बैठक में यह भी तय किया गया कि किसी भी मतदान केंद्र पर अगर गड़बड़ी या उपद्रव की आशंका होती है, तो तुरंत कार्रवाई की जाएगी।
पुलिस मुख्यालय में दूसरे चरण के मतदान की मॉनिटरिंग के लिए एक विशेष टीम बनाई गई है, जो रियल टाइम में सभी जिलों से रिपोर्ट प्राप्त करेगी। इस टीम को निर्देश दिया गया है कि किसी भी छोटी से छोटी घटना पर तुरंत प्रतिक्रिया दी जाए और आवश्यक कदम उठाए जाएं।
डीजीपी विनय कुमार ने कहा कि चुनाव के पहले और मतदान के दौरान जो भी व्यक्ति कानून-व्यवस्था भंग करने की कोशिश करेगा, उसे तत्काल गिरफ्तार कर जेल भेजा जाएगा। उन्होंने बताया कि पुलिस मुख्यालय ने राज्यभर के जिलों को करीब 3,000 कुख्यात अपराधियों की सूची भेजी है, जिन पर विशेष निगरानी रखी जा रही है। इन लोगों की गतिविधियों पर नजर रखने के लिए खुफिया तंत्र को भी सक्रिय कर दिया गया है।
चुनाव की घोषणा के बाद से बिहार पुलिस ने पूरे राज्य में ‘ऑपरेशन क्लीन’ चलाया है। इस अभियान के तहत फरार अपराधियों के खिलाफ लगातार कार्रवाई की जा रही है। इसके साथ ही, अवैध हथियारों की बरामदगी के लिए ‘ऑपरेशन जखीरा’ नामक विशेष अभियान भी शुरू किया गया। इन अभियानों के दौरान पुलिस को काफी सफलता मिली है।
पिछले एक महीने में पुलिस ने 50 हजार से अधिक अपराधियों को गिरफ्तार किया है। इस अवधि में 809 हथियार और 3,409 गोलियां बरामद की गई हैं। जनवरी से अब तक पुलिस ने कुल ढाई लाख अपराधियों को गिरफ्तार कर जेल भेजा है, जो राज्य में कानून-व्यवस्था को सुदृढ़ बनाने की दिशा में एक बड़ी उपलब्धि मानी जा रही है।
डीजीपी ने आम मतदाताओं से अपील की है कि वे निर्भीक होकर मतदान करें। उन्होंने कहा कि जैसे पहले चरण में मतदाताओं ने बिना डर के मतदान किया, वैसे ही दूसरे चरण में भी वे पूरे आत्मविश्वास के साथ मतदान करें। सुरक्षा बल हर जगह मौजूद रहेंगे, ताकि कोई भी व्यक्ति मतदाताओं को डराने या मतदान प्रक्रिया में बाधा डालने का साहस न कर सके।
राज्य के कई जिलों में पुलिस और प्रशासन ने चुनाव से पहले शांति समिति की बैठकें भी आयोजित की हैं, जिनमें विभिन्न समुदायों, पंचायत प्रतिनिधियों और सामाजिक संगठनों के साथ संवाद किया गया है। इन बैठकों में सभी से अपील की गई है कि वे चुनाव के दौरान शांति और सौहार्द बनाए रखें।
चुनाव आयोग ने भी स्पष्ट किया है कि किसी भी तरह की गड़बड़ी, धनबल या बाहुबल के प्रयोग को सख्ती से रोका जाएगा। फ्लाइंग स्क्वॉड और निगरानी दल लगातार सड़कों पर गश्त कर रहे हैं। इसके साथ ही शराब, हथियार, नकदी और अन्य प्रतिबंधित सामग्रियों की रोकथाम के लिए विशेष अभियान चलाया जा रहा है।
बिहार में दूसरे चरण के मतदान को लेकर प्रशासन की तैयारियां अपने चरम पर हैं। हर स्तर पर निगरानी और सख्ती के बीच उम्मीद की जा रही है कि चुनाव का यह चरण भी पहले की तरह शांतिपूर्ण और निष्पक्ष माहौल में संपन्न होगा। मतदाताओं की सुरक्षा और स्वतंत्र मतदान सुनिश्चित करने के लिए राज्य मशीनरी पूरी तरह सक्रिय है।