1st Bihar Published by: VISHWAJIT ANAND Updated Fri, 25 Jul 2025 05:32:07 PM IST
गुंडे भेजेंगे तो गाली ही देंगे-PK - फ़ोटो SOCIAL MEDIA
SUPAUL: बिहार विधानसभ के नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने बीते दिनों कहा था कि अगर चुनाव आयोग की ओर से SIR में पारदर्शिता नहीं बरतती है तो महागठबंधन चुनाव का बहिष्कार करने पर विचार कर सकता है। हम यह फैसला सभी सहयोगी पार्टियों से चर्चा करने के बाद करेंगे। तेजस्वी यादव के चुनाव आयोग पर सवाल उठाने और बहिष्कार की धमकी देने पर प्रशांत किशोर ने कहा कि तेजस्वी सिर्फ धमकी ना दें, बहिष्कार करके दिखाये। वैसे लोकतंत्र में सभी नेता और दल अपना विचार रखने और अपना रास्ता चुनने के लिए स्वतंत्र हैं।
जनसुराज पार्टी के संरक्षक प्रशांत किशोर ने यह बातें सुपौल में कही। उन्होंने कहा कि तेजस्वी को यदि लगता है चुनाव का बहिष्कार करना चाहिए तो करें धमकी देने की जरूरत नहीं है। तेजस्वी यादव धमकी क्यों दे रहे हैं? बहिष्कार करें धमकी क्यों दे रहे हैं, ये उनका निर्णय है। लोगों का समर्थन जन सुराज को नहीं है, लोगों का समर्थन बदलाव के लिए है। जिनको भाजपा के डर से लालू और लालू के डर से भाजपा को वोट देना पड़ता है उनके लिए है।.
प्रशांत किशोर ने कहा कि बिहार में यह समर्थन इसलिए है क्योंकि बिहार में एक नई व्यवस्था बने जहां बच्चों के लिए शिक्षा हो यहां से पलायन बंद हो यहीं रोजगार हो भ्रष्टाचार बंद हो। यह समर्थन जन सुराज के लिए नहीं है प्रशांत किशोर के लिए नहीं है, एक नई व्यवस्था के लिए है इसलिए आप इस जन सैलाब को देख रहे हैं। नवंबर में एक नई व्यवस्था बनने वाली है। नई सरकार बनने वाली है। बिहार में शिक्षा और रोजगार होगा। भ्रष्टाचारियों को झाड़ू मार कर जनता यहां से भगाने वाली है।
सदन में हुए गाली गलौज पर प्रशांत किशोर ने कहा कि सदन में बालू माफिया शराब माफिया, गुंडा, बदमाश को भेजिएगा तो सदन में मारपीट नहीं होगा तो क्या होगा? ऐसे लोगों को जनता सदन में जीता कर पहुंचती है जिन्हें न भाषा का ज्ञान है न शब्दों का..ये लोग सदन में जनता की आवाज नहीं उठा कर गाली गलौज करते हैं। सत्ता हो या विपक्ष दोनों का भाषा बात करने का तरीका गाली गलौज बिहार की राजनीति का संस्कृति बन गया है इसी को हटाने के लिए जान सुराज की व्यवस्था बनाई गई है।
वही CAG की रिपोर्ट पर पीके ने कहा कि बिहार सरकार 40 से 50 हजार करोड़ हर वर्ष सरेंडर करती है खर्च नहीं करती है। एक ओर लोग गरीबी से परेशान है एक ओर लोगों के पास रोजी रोजगार नहीं है, सरकार कहती है कि मेरे पास पैसा नहीं है दूसरी तरफ हर वर्ष सरकार 40 से 50000 करोड़ सरेंडर करती है। यह दर्शाता है कि सरकार की कितनी बड़ी नाकामयाबी है। उन्होंने आगे कहा कि CAG का जो रिपोर्ट जो आया है उसे मैंने पढ़ा नहीं है पढ़ने के बाद ही मैं कोई टिका टिप्पणी करूँगा।
