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1st Bihar Published by: Viveka Nand Updated Mon, 19 May 2025 02:49:19 PM IST
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Bihar News: पथ निर्माण विभाग में तरह-तरह का खेल चल रहा. अगुवानी घाट पुल के दो बार गिरने के बाद नीतीश सरकार की देश भर में फजीहत हुई। इसके बाद भी दोषी एजेंसी पर ठोस एक्शन नहीं लिया गया. एजेंसी को बचाने की भरपूर कोशिश हुई। तत्कालीन पथ निर्माण मंत्री सह डिप्टी सीएम विजय सिन्हा ने इस हाईप्रोफाइल फाइल को खोला, इसके बाद कार्रवाई की गाड़ी थोड़ी आगे बढ़ी. इसी बीच पथ निर्माण मंत्री सह डिप्टी सीएम विजय सिन्हा का विभाग बदल दिया गया. डिप्टी सीएम से पथ निर्माण विभाग ले लिया गया. हालांकि जाने से पहले विजय सिन्हा ने अगुवानी घाट पुल निर्माण कर रही कंपनी के खिलाफ कार्रवाई के आदेश दे दिए थे. वहीं संबंधित इंजीनियरों के खिलाफ भी जांच कर कार्रवाई करने का आदेश दिया था. मंत्री के आदेश के बाद अगुवानी घाट पुल गिरने के खेल में मुख्य सचिव की इंट्री होती है. यानि सरकार के आदेश के बाद मुख्य सचिव समीक्षा करते हैं. अब जिम्मेदारी तय करने के लिए पथ निर्माण विभाग के तीन अधिकारी-इंजीनियर की टीम बनाई गई है. विभाग के जानकार बताते हैं कि जांच समिति में वो भी हैं जो पहले अगुवानी घाट पुल निर्माण से जुड़े रहे हैं.
मंत्री ने कार्रवाई के आदेश दिए, डिप्टी सीएम के जाने के बाद विभाग ने बनाई तीन सदस्यीय समिति
पथ निर्माण विभाग ने 5 मई को एक आदेश जारी किया. जिसमें कहा गया है कि सुल्तानगंज-अगुवानी घाट पुल के दो बार क्षतिग्रस्त हो जाने के संबंध में समीक्षा की गई. इस संबंध में एक उच्च स्तरीय जांच का निर्णय लिया गया है. जिसका मुख्य TERM of Refrence संवेदक, Authority Engineeer एवं अन्य अभियंताओं द्वारा अपने दायित्व का निर्वहन नहीं करने की जांच करना होगा.
मुख्य सचिव ने 11 अप्रैल को समीक्षा की थी
मुख्य सचिव बिहार ने 11 अप्रैल 2025 को समीक्षा बैठक की थी. जिसमें निर्णय लिया गया था कि पथ निर्माण विभाग, पुल निगम द्वारा योजना के कार्यान्वयन से संबद्ध अभियंताओं, संवेदक, इंजीनियर, पर संगत प्रावधानों के खिलाफ विधि सम्मत कार्रवाई की जाय. समिति की रिपोर्ट के बाद संवेदक, इंजीनियर, एवं जिन अभियंताओं के कार्य में लापरवाही पाई जाय, उन पर विधि सम्मत अनुशासनिक, विभागीय कार्यवाही की जायेगी.
सचिव की अध्यक्षता में जांच समिति
इस आलोक में पथ निर्माण विभाग ने तीन सदस्यीय उच्च स्तरीय समिति का गठन किया है. पथ निर्माण विभाग के सचिव को अध्यक्ष बनाया गया है. वहीं विशेष सचिव सह पुल निर्माण निगम के अध्यक्ष को सदस्य और अभियंता प्रमुख (कार्य प्रबंधन) को सदस्य बनाया गया है. बता दें, पथ निर्माण विभाग में दो सचिव हैं. विभाग के पत्र में यह उल्लेख नहीं है कि किस सचिव को इस समिति का अध्यक्ष बनाया गया है.