MLA Subhash Singh : विधायक के औचक निरीक्षण में स्वास्थ्य व्यवस्था की खुली पोल, इमरजेंसी में डॉक्टर गायब; ब्लड टेस्ट के नाम पर वसूली का आरोप

गोपालगंज में स्वास्थ्य व्यवस्था की लापरवाही उजागर हुई जब सदर विधायक सुभाष सिंह ने मॉडल सदर अस्पताल का औचक निरीक्षण किया। इमरजेंसी में डॉक्टर गायब मिले और ब्लड जांच के नाम पर वसूली का मामला सामने आया।

1st Bihar Published by: First Bihar Updated Sun, 07 Dec 2025 08:51:20 AM IST

MLA Subhash Singh : विधायक के औचक निरीक्षण में स्वास्थ्य व्यवस्था की खुली पोल, इमरजेंसी में डॉक्टर गायब; ब्लड टेस्ट के नाम पर वसूली का आरोप

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MLA Subhash Singh : गोपालगंज में स्वास्थ्य व्यवस्था की वास्तविक तस्वीर एक बार फिर सामने आई है। विधानसभा सत्र समाप्त होते ही सदर विधायक सुभाष सिंह ने अचानक मॉडल सदर अस्पताल का औचक निरीक्षण किया। बिना किसी पूर्व सूचना के पहुंचे विधायक को देखते ही अस्पताल प्रशासन में हड़कंप मच गया। विधायक सीधे इमरजेंसी वार्ड में पहुंचे, जहां उनके सामने अस्पताल की लापरवाही खुलकर सामने आ गई।


जैसे ही विधायक इमरजेंसी में दाखिल हुए, वहां मौजूद स्टाफ में हलचल मच गई। निरीक्षण के दौरान पाया गया कि ड्यूटी पर तैनात कई डॉक्टर वार्ड से गायब थे। मरीजों की गंभीर स्थिति को देखते हुए इस तरह की अनुपस्थिति ने विधायक को नाराज कर दिया। उन्होंने मौके पर मौजूद अधिकारियों को फटकार लगाते हुए कहा कि इमरजेंसी जैसी महत्वपूर्ण सेवा में डॉक्टरों का अनुपस्थित रहना घोर लापरवाही है और इसे हरगिज बर्दाश्त नहीं किया जा सकता।


विधायक सुभाष सिंह ने सिविल सर्जन को तुरंत कार्रवाई करने का निर्देश दिया। उन्होंने स्पष्ट कहा कि गायब डॉक्टरों के खिलाफ सख्त विभागीय कार्रवाई की जाए, ताकि भविष्य में किसी डॉक्टर या अस्पताल कर्मी की ओर से ऐसी उदासीनता न दिखाई जाए। उन्होंने अधिकारियों को चेतावनी देते हुए कहा कि स्वास्थ्य सेवा लोगों के जीवन से जुड़ी है, इसलिए यहां किसी भी तरह की ढिलाई की कोई गुंजाइश नहीं है।


निरीक्षण के दौरान एक और गंभीर अनियमितता सामने आई। ब्लड जांच के नाम पर अवैध वसूली की शिकायत विधायक तक पहुंची। मरीजों और उनके परिजनों ने बताया कि जांच के बदले उनसे पैसे लिए जा रहे हैं, जबकि सरकारी अस्पताल में जांच और उपचार की सभी मूलभूत सुविधाएं पूरी तरह मुफ्त होनी चाहिए। इस बात का पता चलते ही विधायक का पारा चढ़ गया। उन्होंने अधिकारियों को डांटते हुए कहा कि सरकारी अस्पताल में धन उगाही किसी भी कीमत पर स्वीकार्य नहीं है।


उन्होंने साफ शब्दों में कहा कि गरीब और जरूरतमंद लोग इलाज के लिए सरकारी अस्पताल पर निर्भर रहते हैं, ऐसे में उनसे पैसे लेना भ्रष्टाचार का घिनौना रूप है। विधायक सुभाष सिंह ने चेतावनी देते हुए कहा, “स्वास्थ्य सेवा में लापरवाही या भ्रष्टाचार को किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। जनता की सेवा सर्वोच्च प्राथमिकता है, और इसमें किसी भी प्रकार का समझौता नहीं किया जाएगा।”


विधायक के अचानक निरीक्षण के बाद अस्पताल प्रशासन में खलबली तेज हो गई है। अधिकारियों और कर्मचारियों के बीच चर्चा का विषय है कि आने वाले दिनों में कई डॉक्टरों और कर्मियों के खिलाफ कार्रवाई तय है। माना जा रहा है कि इस औचक जांच के बाद स्वास्थ्य विभाग में भी कई स्तर पर कार्रवाई देखने को मिल सकती है।


गोपालगंज का यह मामला एक बार फिर बताता है कि स्वास्थ्य प्रणाली में सुधार के लिए कड़े कदमों की जरूरत है। जनता का भरोसा तब ही कायम रह पाएगा जब जिम्मेदार अधिकारी और डॉक्टर अपनी ड्यूटी को प्राथमिकता देंगे और अस्पताल प्रशासन पारदर्शी तरीके से काम करेगा। विधायक सुभाष सिंह के इस कदम को आम लोगों ने सराहा है और उम्मीद जताई है कि इससे स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार की दिशा में ठोस पहल होगी।