ब्रेकिंग न्यूज़

मुजफ्फरपुर: पशु व्यवसायी से लूट का आरोपी 24 घंटे में गिरफ्तार, कैश भी बरामद सरैया बाजार से अयोध्या के लिए 17वां जत्था रवाना, अजय सिंह का हुआ जोरदार स्वागत Bihar News: ‘परिवार बचाओ, संपत्ति बचाओ यात्रा पर निकले हैं तेजस्वी’ रोहित कुमार सिंह का बड़ा हमला Bihar News: ‘परिवार बचाओ, संपत्ति बचाओ यात्रा पर निकले हैं तेजस्वी’ रोहित कुमार सिंह का बड़ा हमला बड़हरा में माई-बहन सम्मान योजना को मिला जबरदस्त समर्थन, 50 हज़ार से अधिक फॉर्म जमा Traffic Challan: माफ होंगे 12.93 लाख गाड़ियों के चालान, वाहन मालिकों को मिली बड़ी राहत Traffic Challan: माफ होंगे 12.93 लाख गाड़ियों के चालान, वाहन मालिकों को मिली बड़ी राहत Bihar Politics: बिहार में विधायकों की कथित खरीद-फरोख्त का मामला, BJP एमएलए से EOU ने तीन घंटे तक की पूछताछ; अब JDU विधायक की बारी Bihar Politics: बिहार में विधायकों की कथित खरीद-फरोख्त का मामला, BJP एमएलए से EOU ने तीन घंटे तक की पूछताछ; अब JDU विधायक की बारी मोतिहारी के इन सरकारी स्कूलों में 'चवन्नी' का काम नहीं और BSEIDC से करोड़ों की अवैध निकासी ! खुलासे के बाद भी भुगतान को लेकर 'पटना' भेजी जा रही सैकड़ों फाइल

विश्व हिंदू परिषद की मांग, राजद और सपा की मान्यता रद्द करे चुनाव आयोग

विश्व हिंदू परिषद की मांग, राजद और सपा की मान्यता रद्द करे चुनाव आयोग

02-Feb-2023 05:25 PM

By First Bihar

DESK: रामचरितमानस पर राजद और सपा नेताओं के विवादित बयानों के कारण विश्व हिंदू परिषद ने चुनाव आयोग से इन दलों की मान्यता को रद्द करने की मांग की है। इसकी जानकारी वीएचपी ने ट्विटर हैंडल से दिया। ट्विटर हैंडल से जारी एक बयान में बताया गया है कि विश्व परिषद के  एक उच्च स्तरीय प्रतिनिधिमंडल जल्द ही चुनाव आयोग से मिलकर इन दोनों दलों की मान्यता रद्द करने की मांग करेंगे। 


विहिप के प्रमुख आलोक कुमार के राजनीतिक प्रतिनिधित्व ने आरोप लगाया है कि वो आयोग को बताएगा कि इन दलों ने संविधान के पंथनिरपेक्ष और लोकतांत्रिक मूल्यों का उल्लंघन किया है। उन्होंने क़ानून, 1951 की धारा 29ए का ज़िक्र करते हुए आरोप लगाया है आरोप लगाया है। 


बता दें कि पिछले कुछ दिनों में बिहार के शिक्षा मंत्री सह राजद के नेता डॉ. चंद्रशेखर ने रामचरितमानस की कुछ चौपाइयों की आलोचना करते हुए कहा कि यह समाज में नफरत को फैला रहा है साथ ही इसकी आलोचना करते हुए इस काव्य ग्रंथ पर प्रतिबंध लगाने तक की मांग कर दी। वहीं उत्तर प्रदेश के पूर्व मंत्री और समाजवादी पार्टी के नेता स्वामी प्रसाद मौर्य ने भी रामचरितमानस की आलोचना की थी. आलोचनाओं के बाद बीजेपी, हिन्दू परिषद और लोगों ने भी इन नेताओं पर निशाना साध चुकी है.