तेज प्रताप की कुर्सी को खतरा : सदस्यता को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनवाई, नामांकन पत्र में संपत्ति छुपाने का आरोप

तेज प्रताप की कुर्सी को खतरा : सदस्यता को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनवाई, नामांकन पत्र में संपत्ति छुपाने का आरोप

PATNA : इस वक्त एक बड़ी खबर राजधानी पटना से सामने आ रही है. बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव के बड़े बेटे तेजप्रताप यादव की मुश्कलें बढ़ गई हैं. राजद विधायक तेज प्रताप यादव की विधानसभा सदस्यता को हाईकोर्ट में चुनौती दी गई थी जिसपर आज हाईकोर्ट में सुनवाई हुई. कोर्ट में दोनों पक्षों की ओर से विभिन्न बिंदुओं को दाखिल किया गया. जस्टिस विरेन्द्र कुमार ने मामले पर सुनवाई करते हुए इसे रिकॉर्ड पर रखने का आदेश दिया है. 


आपको बता दें कि हाईकोर्ट के जज जस्टिस बीरेंद्र कुमार की एकल पीठ ने विजय कुमार यादव की याचिका पर सुनवाई करते हुए यह आदेश दिया है. याचिकाकर्ता ने तेज प्रताप यादव के निर्वाचन को अमान्य करार देकर हारे हुए जदयू के उम्मीदवार राज कुमार राय को विजयी घोषित करने की मांग की है. याचिकाकर्ता विजय ने नामांकन पत्र के साथ अपनी संपत्ति का सही-सही पूर्ण विवरण नहीं देने का का आरोप लगाया है.


अब इस मामलें पर 30 सितंबर को सेटलमेंट ऑफ इशू और गवाही पर सुनवाई की जाएगी. गवाही में संबंधित पक्षकारों द्वारा उन दस्तावेजों और गवाहों की लिस्ट भी दी जाएगी ,जो इस मुकदमें से जुड़े हुए होंगे.


आरजेडी विधायक और पूर्व स्वास्थ्य मंत्री तेज प्रताप यादव के वकील जगन्नाथ सिंह ने बताया कि याचिकाकर्ता ने जनप्रतिनिधि एक्ट, 1951 की धारा 100 का हवाला देते हुए तेज प्रताप के निर्वाचन को अमान्य अर्थात वॉइड करार देने के लिए याचिका दायर किया है.