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SHEKHPURA : बिहार की सरकार स्वास्थ्य व्यवस्था को लेकर भले ही बड़े-बड़े दावे करे, लेकिन इसकी जमीनी हकीकत क्या है इसकी तस्वीर अक्सर लोगों के सामने आते रही थी. अपनी लचर व्यवस्था के लिए जाने पहचाने जाने वाले बिहार के स्वास्थ्य विभाग में एक गड़बड़ी का बड़ा मामला सामने आया है.
मंगलवार को विधानसभा पहुंचे शेखपुरा के राजद विधायक विजय सम्राट ने बिहार में सिविल सर्जनों की तैनाती का मामला उठाते हुए कहा है कि शेखपुरा में जिस सिविल सर्जन की तैनाती राज्य सरकार ने किया है उनकी मृत्यु फरवरी महीने में ही हो चुकी है.
विधायक ने बताया कि सोमवार को स्वास्थ्य विभाग के तरफ से एक सिविल सर्जन का तबादला का एक नोटिफिकेशन जारी किया था. उसके अनुसार जिस सिविल सर्जन को डॉ वीर कुंवर सिंह का शेखपुरा में तबादला किया गया है, उनकी फरवरी में ही मृत्यु हो गई है. उनके मौत का कारण कोरोना संक्रमण में बताया गया था. अब ऐसे में वो अब पदभार कैसे ग्रहण करेंगे ये तो स्वास्थ्य विभाग ही बताएगा.
बता दें कि राजद के विधायक लगातार नीतीश सरकार के स्वास्थ्य व्यवस्था पर सवाल उठाते हुए कह रहे हैं कि बिहार में अब मरे हुए डॉक्टरों की तैनाती अस्पताल में इलाज करने के लिए किया जा रहा है. स्वास्थ्य विभाग इतनी बड़ी चूक कैसे कर देता है. क्या इसकी जानकारी विभाग को नहीं थी. जब स्थानीय विधायक होने के नाते मुझे इस बात की जानकारी हो सकती है तो फिर सरकार के स्वास्थ्य मंत्रालय को क्यों नहीं. राजद विधायक ने कहा कि यह कोई पहला मामला नहीं है, जिसमें किसी मरे हुए व्यक्ति की तैनाती सरकार ने की हो. विभाग अक्सर ऐसी गलतियां करता है और इससे कुछ नहीं सिखता.