रास्ता बदलने की वजह से मांझी का हुआ अपमान ! बोले नीतीश के मंत्री .... बिहार में दलित की नहीं विकास की हो रही राजनीति

रास्ता बदलने की वजह से मांझी का हुआ अपमान ! बोले नीतीश के मंत्री .... बिहार में दलित की नहीं विकास की हो रही राजनीति

PATNA : बिहार में दलित की नहीं बल्कि विकास की सियासत शुरू है। में तरक्की की बात होती है तरक्की की सियासत चालू है। बिहार अब दूसरा कुछ भी नहीं टिकेगा। यहां सिर्फ आपसी प्रेम भाईचारा और सौहार्द की बातें टिकेगी। दलित लोगों के लिए राज्य सरकार ने जो काम किया है वह उनके जेहन में है। इसलिए मांझी जी क्या बोल रहे हैं कोई फर्क नहीं पड़ता है। यह बातें नीतीश कुमार के बेहद करीबी कहे जाने वाले बिहार सरकार के मंत्री श्रवण कुमार ने कही है। 


बिहार सरकार के मंत्री श्रवण कुमार ने कहा कि - जीतन राम मांझी यदि सही दिशा में जाते तो उनकी हालत नहीं होती। जिसको राज का ताज पहनाया गया। जिसको नीतीश कुमार ने अपनी कुर्सी सौंप दे दिया। लेकिन उस गरिमा को जब बचा नहीं पाए तो अब यह क्या बोलते हैं और क्या नहीं बोलते हैं इसका कोई मतलब नहीं रह जाता है। बिहार की जनता उनको नोटिस नहीं लेती ऐसे लोगों को कोई भी नोटिस नहीं लेता है।


इसके आगे उन्होंने कहा कि- जिस तरह से बिहार की सरकार और बिहार के मुख्यमंत्री जी ने ऐतिहासिक फैसला लिया है। जिसका जोड़ा देश में कहीं भी नहीं मिल सकता है। जाति आधारित गणना का जब रिपोर्ट पेश किया और इस पर जब बहस हुई है तो जिस तरह से भाजपा के नेता उसको हल्के में ले रहे थे वह उचित नहीं था। देश के गरीबों के लिए देश के असहाय लोगों के लिए अभी तक तो उन्होंने कुछ भी नहीं किया है। भाजपा के लोग जानबूझकर सदन को नहीं चलने देते हैं और इस बार भी तीन-चार दिनों तक लगातार सदन की कार्यवाही को बाधित करते रहे।


दरअसल, बिहार सरकार के मंत्री मोलाना अबुल कलाम आजाद की जयंती के अवसर पर आयोजित राजकीय समारोह में शिरकत करने पहुंचे थे। जहां उन्होंने कहा कि - मौलाना अब्दुल कलाम आजाद देश के पहले शिक्षा मंत्री बने हैं आज हम सब लोगों ने उन्हें श्रद्धा सुमन अर्पित किया। जिस तरह से उन्होंने देश में प्रेम भाईचारा और सुहाग्रा के साथ ज्ञान को बढ़ाने का काम किया वह विरले लोग ही कर पाते हैं।


उधर, इसके अलावा जब उनसे यह सवाल क्या-क्या की लाल यादव के बेहद करीबी माने जाने वाले एक शख्स की गिरफ्तारी हुई है तो उन्होंने कहा कि जब देश में चुनाव आता है तो फिर ईडी और सीबीआई की छापेमारी शुरू हो जाती है। यह बातें सारा देश जानता है। वर्तमान में तीन चार राज्यों में चुनाव हो रहे हैं तो छापेमारी तो होगी ही। इसमें कोई नई बात नहीं है और इससे कोई डरने वाला नहीं है।