NEW DELHI : सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ वकील प्रशांत भूषण अवमानना के दोषी पाए गये हैं। प्रशांत भूषण ने कोर्ट से माफी मांगने से भी इंकार कर दिया है। सुप्रीम कोर्ट में आज उनकी सजा को लेकर सुनवाई हुई है जिसके बाद प्रशांत भूषण को बड़ी राहत मिली है। इस मामले की सुनवाई अब कोर्ट की नयी पीठ करेगी। 2009 में वरिष्ठ वकील प्रशांत भूषण द्वारा न्यायाधीशों पर टिप्पणी से जुड़े अवमानना मामले में उच्चतम न्यायालय ने आज मुख्य न्यायाधीश (सीजेआई) एसए बोबडे से अनुरोध किया कि इसे अदालत की उपयुक्त पीठ के समक्ष रखा जाए। अदालत ने इस मामले को 10 सितंबर को एक अन्य पीठ के समक्ष सूचीबद्ध किया है।मंगलवार को सुनवाई के दौरान न्यायमूर्ति अरुण मिश्रा ने कहा, 'मेरे पास समय की कमी है।
मैं पद से मुक्त होने वाला हूं। इसके लिए चार से पांच घंटे की विस्तृत सुनवाई की आवश्यकता है।' अदालत ने कहा 'यह सजा का सवाल नहीं है, यह संस्था में विश्वास का सवाल है। जब लोग राहत के लिए अदालत में आते हैं और वो आस्था डगमगा जाती है तो यह एक समस्या बन जाती है।' बता दें कि न्यायमूर्ति मिश्रा दो सितंबर को सेवानिवृत्त हो रहे हैं।
प्रशांत भूषण के वकील राजीव धवन ने तर्क दिया था कि न्यायाधीशों द्वारा भ्रष्टाचार के संदर्भ में कोई भी सवाल, क्या यह अवमानना है या नहीं, इसकी जांच एक संविधान पीठ द्वारा की जानी चाहिए।