नीतीश के स्वभाव में नहीं था मुझे CM बनाना, बोले मांझी ... जब अपनी मर्जी से करने लगा काम तो होने लगा उनके पेट में दर्द

नीतीश के स्वभाव में नहीं था मुझे CM बनाना, बोले मांझी ... जब अपनी मर्जी से करने लगा काम तो होने लगा उनके पेट में दर्द

PATNA : नीतीश कुमार बिहार के मुख्यमंत्री  महिलाओं के बारे में कितना आपत्तिजनक बातें कहते हैं। यह आप लोग जानते हैं। उसके बाद हमारे साथ गलत बर्ताव किया जबकि हम उनसे उम्र में बहुत बड़े हैं। राजनीतिक जीवन भी उनसे लंबी है। किसान सभा में जहां छोटा हो या बड़ा हो सभी माननीय सदस्य होता है उनके प्रति आदर और सम्मान के साथ बातचीत की जानी चाहिए। लेकिन जिस तरह से मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बातें कही वह कहीं से भी उचित नहीं है।


जीतन राम मांझी ने कहा कि -नीतीश कुमार नैना सिर्फ हमारा बल्कि इस देश में रहने वाले सभी गरीब और दलित समाज के लोगों का अपमान किया है। नीतीश कुमार के तरफ से जो बातें कही गई है कहीं से भी उचित नहीं है।


मांझी ने कहा कि - हमें ऐसा क्या बोल रहे थे। हमने आरक्षण बिल का हमेशा से ही समर्थन किया है। हमने तो सिर्फ यह कहा कि बाबा साहब ने कहा था कि आरक्षण का हर 10 साल में समीक्षा की जानी चाहिए। आप 18 साल से बिहार के मुख्यमंत्री के कुर्सी पर हैं और आपके बड़े भाई भी 15 साल कुर्सी पर रहे। आखिर क्यों समीक्षा नहीं होना चाहिए।


इसके साथ ही मुझे उन्होंने अपने फायदे के लिए सीएम बनाया था। वो समझते थे कि मुसहर समाज का लोग बड़ा सीधा होता है। इसको बना देंगे तो कहेंगे वो करेगा। उनको 2014 में बुरा हाल  हो गया है। इनको पार्टी के नेता लगातार इस्तीफा की मांग कर रहे थे तो इसी पर न देकर एक मुलायम आदमी को और एक सीधा-साधा आदमी को कुर्सी पर बैठा दिया। 2 महीना तक जैसा उन्होंने कहा वैसा हमने किया भी। उसके बाद लगातार यह बातें आने लगी कि जीतन राम मांझी रबर स्टैंप है और रिमोट से चलता है तो फिर हम काम करना शुरू किया तो उनके पेट में दर्द होने लगा।