मिठाई के डिब्बे में 50 हजार घूस लेते सिविल सर्जन गिरफ्तार, बिल पास कराने के लिए मांग रहा था एक लाख रुपया

मिठाई के डिब्बे में 50 हजार घूस लेते सिविल सर्जन गिरफ्तार, बिल पास कराने के लिए मांग रहा था एक लाख रुपया

JHARKHAND: रिश्वतखोरों के खिलाफ आए दिन कार्रवाई की जाती है लेकिन घूसखोर अपनी आदतों से बाज नहीं आ रहे हैं। हम नहीं सुधरेंगे की तर्ज पर बेखौफ घूस लेते नजर आ रहे हैं। ताजा मामला झारखंड के पलामू का है जहां के सिविल सर्जन को 50 हजार रुपया घूस लेते गिरफ्तार किया गया है। घूस की रकम लेने का तरीका यहां कुछ अलग दिखा। सिविल सर्जन ने मिठाई के डिब्बे में घूस की रकम ली। बिल पास कराने के नाम पर बिहार के औरंगाबाद निवासी एक शख्स से उन्होंने एक लाख रुपया घूस का डिमांड किया था। 


भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो यानी एसीबी ने मिठाई के डिब्बे में घूस की रकम लेते रंगेहाथों गिरफ्तार कर लिया। बताया जाता है कि पलामू के सिविल सर्जन डॉ. जान एफ कैनेडी की पोस्टिंग दो महीने पहले ही हुई थी। मेदिनीनगर के चर्च रोड स्थित उनके आवास से सिविल सर्जन की गिरफ्तारी हुई। बिहार के औरंगाबाद निवासी गोल्डन कुमार की शिकायत पर यह कार्रवाई की गयी है। 


रसियन हेल्थ केयर प्राइवेट लिमिटेड और पलामू जिला स्वास्थ्य समिति के साथ मई महीने में दो वर्षों के लिए एमओयू हुआ था।इसके तहत पलामू के सरकारी अस्पतालों में परिवार नियोजन का ऑपरेशन करना था। अब तक कुल एक लाख 47 हजार रुपया कंपनी का बकाया था। इसके भुगतान के लिए गोल्डन कुमार ने स्वास्थ्य विभाग के जिला कार्यक्रम प्रबंधक दीपक गुप्ता से मुलाकात की थी।


 तब डीपीएम ने बताया था कि बिल के भुगतान के लिए एक लाख रुपया घूस सिविल सर्जन को देना पड़ेगा। जिसके बाद शिकायतकर्ता खुद जाकर सिविल सर्जन से मिले तब उन्होंने एक लाख रुपया रिश्वत की मांग कर दी। गोल्डन कुमार रिश्वत देने के पक्ष में नहीं थे इसलिए उन्होंने इस बात की शिकायत एसीबी से की। 


जिसके बाद त्वरीत कार्रवाई करते हुए एसीबी ने छापेमारी की और मिठाई के डिब्बे में घूस की पहली किस्त लेते सिविल सर्जन को रंगेहाथ गिरफ्तार कर लिया। फिलहाल डॉ. जान एफ कैनेडी से पूछताछ जारी है। गिरफ्तार सिविल सर्जन की पत्नी बीजेपी नेता नीलू मिश्रा ने पूर्व सिविल सर्जन डॉ.अनिल कुमार सिंह पर साजिश के तहत पति डॉ. जान एफ कैनेडी को फंसाने का आरोप लगाया है।