जातीय आधारित गणना कराए जाने के नीतीश सरकार के फैसले का मांझी ने किया स्वागत, कहा-घुमंतू जातियों की भी हो गणना

जातीय आधारित गणना कराए जाने के नीतीश सरकार के फैसले का मांझी ने किया स्वागत, कहा-घुमंतू जातियों की भी हो गणना

PATNA: बिहार में जातीय आधारित गणना अब जल्द होगी। मुख्यमंत्री सचिवालय स्थित संवाद कक्ष में हुए ऑल पार्टी मीटिंग में जातीय जनगणना पर प्रस्ताव सर्वसम्मति से पारित हो गया। इसे लेकर अब जल्द ही कैबिनेट की बैठक बुलाई जाएगी। बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री व हिन्दुस्तानी आवाम मोर्चा के संरक्षक जीतनराम मांझी ने नीतीश सरकार के इस फैसले का स्वागत किया है। 


हिन्दुस्तानी आवाम मोर्चा के संरक्षक जीतनराम मांझी ने ट्वीट करते हुए कहा कि जातीय जनगना होगी यह अच्छी बात है हम स्वागत करते हैं लेकिन यह भी सुनिश्चित करना होगा कि एक ही जाति के लोग अलग-अलग क्षेत्रों में अलग-अलग नाम से जाने जातें हैं उन्हें एक ही जाति माना जाना चाहिए,साथ ही घुमंतू/अर्ध घूमंत/पहाड़ी जातियों की गणना भी होनी चाहिए। 


बता दें कि मुख्यमंत्री सचिवालय के संवाद कक्ष में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में सर्वदलीय बैठक हुई जिसमें बिहार में जातीय जनगणना कराए जाने को लेकर फैसला लिया गया। अब बिहार में जातीय आधारित गणना कराया जाएगा। हर लोगों के बारे में पूरी जानकारी ली जाएगी। 


सर्वदलीय बैठक के दौरान मुख्यमंत्री नीतीश कुमार कहा कि सभी पक्ष और विपक्षी पार्टियों से बातचीत कर सर्वसम्मति से यह फैसला लिया गया है कि बिहार में जातीय जनगणना होगी। इसके लिए बड़े पैमाने पर काम करना होगा जिसमें कई लोगों को लगाया जाएगा। जातीय जनगणना में जिन लोगों को लगाया जाएगा पहले उन्हें ट्रेनिंग दी जाएगी। कैबिनेट के माध्यम से समय सीमा तय किया जाएगा। 


जातीय जनगणना सरकार अपने स्तर से कराएगी। जल्द ही इस बात का फैसला कैबिनेट में लिया जाएगा। जो भी चीजे होंगी सभी पब्लिक डोमेन में रहेगा। जिसे सभी लोग जान सकेंगे कि क्या होने जा रहा है। इसके लिए पैसे की जरूरत होगी जिसे कैबिनेट से पास कराया जाएगा। विधानसभा में 9 दल हैं सभी से इस संबंध में बातचीत हुई। जातीय जनगणना हो इसे लेकर सभी की सहमति भी बनी।