JAMUI: जमुई की विधायक श्रेयसी सिंह के सामने ही वहां के DDC और भागलपुर से आए जलसंसाधन विभाग के कार्यपालक अभियंता आपस में ही उलझ पड़े। डीडीसी बोले कि तुम यहां रहते नहीं हो तुमको आने में एक सप्ताह लग गया। पिटाई होगा तुम्हारा समझ लो। तब कार्यपालक अभियंता ने कहा कि जो करना है कर लीजिए। डीडीसी ने कहा कि तुम्हारा लैग्वेंज ठीक नहीं है तब कार्यपालक कहते हैं कि आपका लैग्वेंज ठीक है। इस दौरान दोनों अधिकारियों के बीच बकझक होने लगी। वहां खड़ी जमुई विधायक दोनों की बातें सुन रही थी। कहा कि किस तरह की बातें आप लोग कर रहे हैं।
दरअसल जमुई के खैरा प्रखंड के मांगोबंदर इलाके में रविदास टोला सहित मांगोबंदर बाजार से गांव की ओर जाने वाली सड़कों पर नाले का पानी ओवरफ्लो हो रहा है। जिसके कारण सड़कों और घरों में गंदे नाले का पानी घुस जाने के कारण जलजमाव की स्थिति उत्पन्न हो गयी है। इस समस्या को लेकर डीडीसी सुमित कुमार और भागलपुर से जल संसाधन विभाग के कार्यपालक अभियंता मौके पर पहुंचे। स्थानीय विधायक के साथ दोनों अधिकारियों ने जलजमाव का जायजा लिया। इसी बीच जमुई डीडीसी सुमित कुमार और भागलपुर से आए जल संसाधन विभाग के कार्यपालक अभियंता आदित्य कुमार के साथ नोंक-झोक देखने को मिली।
नोंक-झोंक होने का मुख्य कारण यह था कि एक सप्ताह से जलजमाव की सूचना जल संसाधन विभाग के अधिकारी को दिया जा रहा था लेकिन कोई कार्रवाई नहीं की जा रही थी। जबकि जल संसाधन विभाग कार्यपालक अभियंता का कहना था कि जलजमाव की जानकारी पत्र के द्वारा दिया जाता तो आकर देख लेते। वही मौके पर मौजूद जमुई विधायक श्रेयसी सिंह ने कहा कि पत्र तो हमने लिखी थी। कार्यपालक अभियंता का कहना था कि लेटर नहीं मिला। इस पर विधायक श्रेयसी सिंह ने कहा क्या बात है। इस बीच डीडीसी ने कहा की तुम यहाँ रहते ही नहीं हो। तुमको आने में कितना टाइम लगेगा। कार्यपालक अभियंता का कहना था कि डिपार्टमेंटल पत्र दिया जाना चाहिए था।
वही डीडीसी ने कहा की तुमको आने में एक सप्ताह लग गया। इस बात का जवाब देते हुए कार्यपालक अभियंता बोले कि कल आप बोले सर, एक सप्ताह लग गया। तुम्हारा नंबर है, नंबर नहीं है तो पता कीजिएगा ना, डीडीसी ने कहा तुम्हारा पिटाई होगा। जवाब देते हुए कार्यपालक अभियंता ने कहा कि जो करना है कर लीजिए। इसी बीच श्रेयसी सिंह ने कहा कि किस तरह से बात कर रहे हो आपके सीनियर अधिकारी हैं। कार्यपालक अभियंता ने कहा कि सर बोल रहे हैं। एक सप्ताह हो गया जबकि कल सर से बात हुई है। आज हम आ गए। इस तरीके से सर मत बोलिए।
डीडीसी ने कहा कि तुम्हारा लैंग्वेज सही नहीं है। जवाब मिला आपका ठीक है क्या। डीडीसी ने कहा मैडम यहां हैं देखिए किस तरह का व्यवहार है इसका। कल शाम में आपसे बात हुई है आज हम यहां पर है। उसके बाद डीडीसी नम्र भाषा में बोले कि अब तुम यह बताओ कि इसका विकल्प क्या होगा। रास्ता निकालो..डीडीसी ने कहा की यह घर का पानी नहीं निकलेगा। हम चौर का पानी निकलबाते है। विधायक श्रेयसी ने बताया की यह पईंन का पानी है, इसे निकालना आपकी जिम्मेवारी है। कार्य अभियंता आदित्य कुमार ने जानकारी देते हुए विधायक श्रेयसी को बताया की हम लोग चौर के पानी को निकालते है। उसका निकासी करके लो लैंड में पहुंचाते है।
कार्यपालक अभियंता आदित्य प्रकाश से पूछा गया कि सीनियर अधिकारी से इस तरह से बात किया जाता है, जवाब दिया नहीं किया जाता है। कल शाम में जानकारी मिली आज 10 बजे हम पहुंच गए। इस तरह से बात नहीं करना चाहिए गलती हो गई। मौके पर विधायक श्रेयसी सिंह ने कहा कि जलजमाव की समस्या का निपटारा होगा। लेकिन यहां आने के बाद पता चला कि जल संसाधन विभाग के अधिकारी जो जमुई में नहीं है। वो भागलपुर से ऑपरेट होता है। वहां के पदाधिकारी बहुत सुस्त हैं, बहुत ही निष्क्रिय हैं कोई काम करने में उन लोगों को इंट्रेस्ट नहीं रहता है। आप सभी लोगों ने देखा कि किस तरह से वह डीडीसी के साथ बदतमीजी कर रहे थे और काम नहीं कर रहे थे। वही डीडीसी ने इस मामले में कुछ भी बोलने से इनकार कर दिया।